Aurangabad News : आपत्तिजनक हालत में मिले सुरक्षाकर्मी व महिला, कार्रवाई का आदेश

Aurangabad News: सदर अस्पताल में लगे सीसीटीवी फुटेज से महिला व सुरक्षाकर्मी की हुई पहचान, जांच में जुटा विभाग

By AMIT KUMAR SINGH_PT | June 6, 2025 10:26 PM

औरंगाबाद ग्रामीण. मॉडल अस्पताल के रूप में विकसित सदर अस्पताल में एक शुक्रवार को एक अजीबो-गरीब मामला सामने आया है. जब शुक्रवार की दोपहर एक महिला ने आइसीयू वार्ड के शौचालय से चीखते-चिल्लाते बाहर निकालने की कोशिश की तो आवाज की आहट सुनकर सुरक्षाकर्मी के ड्रेस में एक व्यक्ति शौचालय से निकलकर सदर अस्पताल से भागने की कोशिश करने लगा. वैसे यह वाक्या सीसीटीवी कैमरे में भी कैद हुआ है. जैसे ही यह मामला सदर अस्पताल उपाधीक्षक डॉ सुरेंद्र कुमार सिंह के संज्ञान में गया, तो उन्होंने तुरंत सदर अस्पताल के अस्पताल प्रबंधक प्रफुल्ल कुमार को अपने कक्ष में बुलाया और सीसीटीवी खंगालकर जांच का आदेश दिया. वहीं, सदर अस्पताल में जिन सुरक्षा कर्मियों को ड्यूटी पर लगाया गया है उनके मैनेजर को अपने कार्यालय कक्ष में बुलाया और कहा कि यह सुरक्षाकर्मी आपका है या बाहरी है, इसकी जांच पड़ताल करते हुए 24 घंटे के अंदर रिपोर्ट दें. अन्यथा अपने स्तर से विभाग को कार्रवाई करने के लिए निर्देश निर्गत किया जायेगा. इस संबंध में सदर अस्पताल में कार्यरत सुरक्षाकर्मी के सुपरवाइजर बीके सिंह से बात की गयी, तो उन्होंने बताया कि वे सदर अस्पताल में नये है. सदर अस्पताल में जो व्यवस्था है उसे सुचारू रूप से लागू करने का प्रयास कर रहे है. रही बात सुरक्षा कर्मी एवं महिला की तो मामला संज्ञान में आते ही जांच की प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है, लेकिन अब तक किसी प्रकार का कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुआ है. वैसे सुरक्षा कर्मी जिस ड्रेस में सदर अस्पताल में ड्यूटी करते है उस ड्रेस में कई आम नागरिक भी सदर अस्पताल में इलाज के नाम पर या घूमते फिरते रहते हैं. ऐसे में जिला प्रशासन को चाहिए कि इस वर्दी पर प्रतिबंध लगाए, ताकि आम जनता इसका प्रयोग न कर सके. इधर, सदर अस्पताल उपाधीक्षक डॉ सुरेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि यह घटना मेरे संज्ञान में नहीं है, लेकिन कुछ लोगों द्वारा जब बताया गया तो सीसीटीवी फुटेज को खंगाला गया. आपत्तिजनक अवस्था में एक सुरक्षा कर्मी व एक महिला पायी गयी है, जिसका सत्यापन किया जा रहा है. तत्काल प्रभाव से उक्त सुरक्षा कर्मी को चिह्नित करते हुए हटाने का निर्देश संबंधित एजेंसी को दिया गया है. यदि इसके बाद भी एजेंसी द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की जाती है, तो विभाग के वरीय पदाधिकारी को लिखित जानकारी दी जायेगी, जिसकी सारी जिम्मेदारी संबंधित कंपनी को होगी.

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