Guruwar Aarti: हर गुरुवार को करें बृहस्पति देव की आरती, पूरी होती हैं मन की मुरादें

Guruwar Aarti: गुरुवार का दिन भगवान विष्णु के पूजन को समर्पित होता है. आज के दिन विष्णु जी के बृहस्पति रूप का पूजन किया जाता है. बृहस्पति देव को देवताओं के गुरू हैं इस कारण ही इस दिन को गुरुवार या बृहस्पतिवार के नाम से जाना जाता है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 28, 2022 5:12 AM

श्री बृहस्पतिवार की आरती- ॐ जय बृहस्पति देवा-

ॐ जय बृहस्पति देवा, जय बृहस्पति देवा।

छिन-छिन भोग लगाऊं, कदली फल मेवा।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

तुम पूर्ण परमात्मा, तुम अंतर्यामी।

जगतपिता जगदीश्वर, तुम सबके स्वामी।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

चरणामृत निज निर्मल, सब पातक हर्ता।

सकल मनोरथ दायक, कृपा करो भर्ता।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

तन, मन, धन अर्पण कर, जो जन शरण पड़े।

प्रभु प्रकट तब होकर, आकर द्वार खड़े।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

दीनदयाल दयानिधि, भक्तन हितकारी।

पाप दोष सब हर्ता, भव बंधन हारी।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

सकल मनोरथ दायक, सब संशय तारो।

विषय विकार मिटाओ, संतन सुखकारी।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

श्री बृहस्पतिवार की आरती- ॐ जय बृहस्पति देवा-

ॐ जय बृहस्पति देवा, जय बृहस्पति देवा।

छिन-छिन भोग लगाऊं, कदली फल मेवा।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

तुम पूर्ण परमात्मा, तुम अंतर्यामी।

जगतपिता जगदीश्वर, तुम सबके स्वामी।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

चरणामृत निज निर्मल, सब पातक हर्ता।

सकल मनोरथ दायक, कृपा करो भर्ता।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

तन, मन, धन अर्पण कर, जो जन शरण पड़े।

प्रभु प्रकट तब होकर, आकर द्वार खड़े।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

दीनदयाल दयानिधि, भक्तन हितकारी।

पाप दोष सब हर्ता, भव बंधन हारी।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

सकल मनोरथ दायक, सब संशय तारो।

विषय विकार मिटाओ, संतन सुखकारी।।

ॐ जय बृहस्पति देवा।।

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