Explainer: क्या है ‘ब्रांड बेंगलुरु’, कर्नाटक के रास्ते केंद्र की सत्ता पर कांग्रेस की नजर

सिद्धारमैया ने कर्नाटक विधानसभा में वित्त वर्ष 2023-24 के लिए 3.27 लाख करोड़ रुपये का बजट पेश किया. बजट में 52,000 करोड़ रुपये व्यय का प्रावधान विधानसभा चुनावों के दौरान दी गईं पांच 'गारंटी' को पूरा करने के लिए किया गया है.

By ArbindKumar Mishra | July 15, 2023 8:42 PM

कर्नाटक में बीजेपी को सत्ता से बाहर करने के बाद सिद्धारमैया सरकार लगातार बड़ी-बड़ी घोषणाएं कर रही है. चुनाव के दौरान जो भी वादे किये थे, उसे पूरा करने में कांग्रेस की सरकार शिद्दत से जुट गयी है. कर्नाटक का बजट पेश करते हुए मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने ‘ब्रांड बेंगलुरु’ की चर्चा की थी और उसके लिए 45 करोड़ रुपये का आवंटन भी किया. उसके बाद इसकी चर्चा तेज हो गयी है कि आखिरी ‘ब्रांड बेंगलुरु’ क्या है, जिसके लिए सिद्धारमैया ने इतना अधिक खर्च कर दिया.

क्या है ‘ब्रांड बेंगलुरु’

कर्नाटक की सिद्धारमैया सरकार बेंगलुरु को विकसित करने के लिए ‘ब्रांड बेंगलुरु’ योजना लेकर आयी है. जिसके तहत यातायात प्रबंधन, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, सार्वजनिक स्थानों का उचित उपयोग, बाढ़ प्रबंधन और सार्वजनिक स्वास्थ्य समेत अन्य का विकास करना और स्थिति में सुधार करना है. मुख्यमंत्री ने इसके लिए 45,000 करोड़ आवंटित किया. जिसमें ‘नम्मा मेट्रो’ के लिए 30,000 करोड़ भी शामिल है. बजट में सिद्धारमैया ने घोषणा की थी कि अमृत नगरोत्थान, हाई-डेंसिटी कॉरिडोर, रोड व्हाइट-टॉपिंग, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, अतिक्रमण हटाने और नहरों की मरम्मत, गड्ढों को भरने आदि जैसी विभिन्न योजनाओं के माध्यम से लगभग 12,000 करोड़ खर्च किए जाएंगे. उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि पिछली भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) सरकार द्वारा अमृत नगरोत्थान कार्यक्रम और इंदिरा कैंटीन जैसे कई जन-समर्थक कार्यक्रमों की उपेक्षा की गई, जिसके कारण शहरी बुनियादी ढांचे और नागरिक सुविधाओं में धीरे-धीरे गिरावट आई. उन्होंने कहा, योजनाबद्ध और वैज्ञानिक तरीके से इन चुनौतियों का समाधान करके हम बेंगलुरु को अंतरराष्ट्रीय मानकों पर पहुंचाएंगे.

‘ब्रांड बेंगलुरु’ को लेकर सिद्धारमैया सरकार को मिले 30 हजार से अधिक सुझाव

‘ब्रांड बेंगलुरु’ को लेकर कर्नाटक की सिद्धारमैया सरकार को अबतक 30 हजार से अधिक सुझाव मिल चुके हैं. इसकी घोषणा खुद डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार ने की है. उन्होंने बताया, मुझे 30 हजार से अधिक सुझाव मिले हैं. अपार्टमेंट एसोसिएशन ने अनुरोध किया है कि वे बेंगलुरु ब्रांड का हिस्सा बनना चाहते हैं. उन्होंने कहा, कुछ दिनों में मैं हाई स्कूल और कॉलेज के छात्रों से मिलकर उनकी राय लूंगा.

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कर्नाटक के विकास मॉडल को लेकर लोकसभा चुनाव लड़ने की तैयारी में कांग्रेस

कर्नाटक में धमाकेदार जीत दर्ज करने से कांग्रेस में खोया आत्मविश्वास फिर से लौट आया है. अब पार्टी कर्नाटक मॉडल के जरिये केंद्र की सत्ता पर नजर गड़ाए हुए है. कर्नाटक में कांग्रेस ने जीत की जो लकीर खींच दी है, उसे आगामी विधानसभा और लोकसभा चुनाव में भी आजमने की कोशिश करेगी. कांग्रेस कर्नाटक मॉडल को सामने रखकर वोट मांगने की तैयारी में है. इसी उद्देश्य से मुख्यमंत्री सिद्धारमैया और डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार जुट गये हैं. दोनों मिलकर कांग्रेस के आलाकमान को कर्नाटक की 20 लोकसभा सीट जीत का तोहफा देने की तैयारी में जुट गये हैं.

कर्नाटक के बजट में चुनावी ‘गारंटी’ के लिए 52,000 करोड़ रुपये का प्रावधान

सिद्धारमैया ने कर्नाटक विधानसभा में वित्त वर्ष 2023-24 के लिए 3.27 लाख करोड़ रुपये का बजट पेश किया. बजट में 52,000 करोड़ रुपये व्यय का प्रावधान विधानसभा चुनावों के दौरान दी गईं पांच ‘गारंटी’ को पूरा करने के लिए किया गया है. उन्होंने कहा कि चुनावी वादों को लागू करने से राज्य सरकार हरेक परिवार को हर महीने 4,000 से लेकर 5,000 रुपये तक की अतिरिक्त वित्तीय मदद पहुंचा पाएगी.

कर्नाटक की सत्ता संभालते ही एक्शन में आ गयी थी सिद्धारमैया सरकार

कांग्रेस ने मई में संपन्न विधानसभा चुनाव के दौरान पांच गारंटी देने की घोषणा की थी. इनमें महिलाओं को बस में मुफ्त सफर, 200 यूनिट तक की मुफ्त बिजली, गरीबों को 10 किलोग्राम मुफ्त अनाज, परिवार की महिला मुखिया को 2,000 रुपये देने और बेरोजगारी भत्ता के तौर पर 3,000 रुपये देने की घोषणाएं शामिल हैं.

ई-कॉमर्स कंपनियों के कर्मचारियों को बीमा का लाभ

कर्नाटक सरकार ने बजट में ई-कॉमर्स कंपनियों के लिए घर-घर तक सामान पहुंचाने वाले अंशकालिक कर्मचारियों को चार लाख रुपये की बीमा सुविधा देने की भी घोषणा. इस राशि में दो लाख रुपये का जीवन बीमा और दो लाख रुपये का दुर्घटना बीमा शामिल है. सिद्धरमैया ने कहा कि इस बीमा के प्रीमियम का सारा बोझ राज्य सरकार उठाएगी. उन्होंने कहा कि पंजीकृत लाभार्थियों और उनके आश्रितों को ‘कर्नाटक भवन एवं अन्य निर्माण श्रमिक कल्याण बोर्ड’ के माध्यम से सब्सिडी और लाभ दिए जाएंगे.