फडणवीस ने राज्यपाल को सरकार बनाने का दावा पेश किया

मुंबई :देवेंद्र फडणवीस को महाराष्ट्र के सीएम का ताज मिल गया है. इसकी घोषणा भाजपा के वरिष्ठ नेता राजनाथ सिंह ने की. राजनाथ ने मीडिया से कहा कि विधायक दल की बैठक में सिर्फ उन्हीं का नाम सीएम के रूप में सामने आया और उसका सभी नेताओं ने समर्थन किया. इसके बाददेवेंद्र फडणवीस राजभवन पहुंचे […]

By Prabhat Khabar Print Desk | October 24, 2014 4:41 PM
मुंबई :देवेंद्र फडणवीस को महाराष्ट्र के सीएम का ताज मिल गया है. इसकी घोषणा भाजपा के वरिष्ठ नेता राजनाथ सिंह ने की. राजनाथ ने मीडिया से कहा कि विधायक दल की बैठक में सिर्फ उन्हीं का नाम सीएम के रूप में सामने आया और उसका सभी नेताओं ने समर्थन किया. इसके बाददेवेंद्र फडणवीस राजभवन पहुंचे और सरकार बनाने का दावा पेश किया.

एकनाथ खडसे ने उनके नाम का प्रस्ताव रखा और विनोद तावड़े, पंकजा मुंडे ने इसका समर्थन किया. इससे पहले एकनाथ खडसे ने अपनी वरिष्ठता के आधार पर सीएम की दावेदारी जतायी थी, जिसके बाद राजीव प्रताप रूडी ने उनसे मुलाकात की और उन्हें मना लिया था. जिसके बाद खडसे ने कहा था कि हाइकमान का फैसला उन्हें स्वीकार होगा.

भाजपा की ओर से बनाये गये महाराष्‍ट्र में पर्यवेक्षक जेपी नड्डा ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि आज विधायक दल की बैठक हुई जिसमें राजनाथ सिंह के साथ राज्य के प्रभारी राजीव प्रताप रूढ़ी भी उपस्थित थे. बैठक में नेता एकनाथ खडसे ने देवेंद्र फडणवीस का नाम आगे किया जिसका सबने एकमत से स‍मर्थन किया.

जानिए कौन हैं देवेंद्र फडणवीस
महाराष्ट्र के भावी मुख्यमंत्री के दौर में सबसे आगे रहे देवेंद्र फडणवीस मात्र 27 साल की उम्र में नागपुर के मेयर बन गये थे. अगर 44 वर्ष की उम्र में वे महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री बनते हैं, तो राज्य के सबसे युवा मुख्यमंत्रियों में शुमार हो जायेंगे. फडणवीस ने नागपुर विश्वविद्यालय से कानून में स्नातक किया है और उसके बाद उन्होंने बिजनेस मैनेजमेंट में पोस्ट ग्रेजुएट डिग्री हासिल की है. उन्होंने बर्लिन से प्रोजेक्ट मैनेजमेंट में डिप्लोमा भी हासिल किया है.
मृदु भाषी फडणवीस महज 19 साल की उम्र में 1989 में सक्रिय राजनीति में शामिल हो गये. वे इस समय भाजपा की युवा शाखा भाजयुमो के वार्ड अध्यक्ष बन गये. इसके बाद 1992 में भाजयुमो की नागपुर इकाई के अध्यक्ष हो गये. बाद में वे भाजयुमो की प्रदेश इकाई के उपाध्यक्ष व फिर राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बने. 2010 में वे पार्टी के प्रदेश महासचिव बने व पिछले साल अध्यक्ष निर्वाचित हुए. दरअसल, राजनीतिक जमीन उन्हें विरासत में मिली है. उनके परिवार का संघ व भाजपा से पुराना नाता रहा है. उनके पिता गंगाधर फडणवीस नागपुर क्षेत्र से जनसंघ, भाजपा के एमएलसी भी निर्वाचित होते रहे हैं.
पर, इस पारिवारिक विरासत के बावजूद उन्होंने बिल्कुल निचले स्तर के कार्यकर्ता के रूप में काम करते हुए अपने राजनीतिक कौशल को निखारा. उनके पास बेहतर जमीनी समझ होने का नतीजा है कि इस बार भाजपा महाराष्ट्र चुनाव में अबतक की सर्वाधिक सीटें जीत पायी. नरेंद्र मोदी अमित शाह की जोडी के अलावा राज्य के जिन प्रमुख नेताओं का इस जीत में योगदान रहा है, उसमें फडणवीस सबसे आगे हैं.
फडणवीस को कॉमनवेल्थ पार्लियामेंटरी एसोसिएशन से बेस्ट पार्लियामेंटेरियन का अवार्ड भी मिला है. जैसा कि दीपावली पर वरिष्ठ भाजपा नेता व केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि मुख्यमंत्री पद के लिए उनकी फडणवीस से कोई रेस नहीं है, इससे राजनीतिक हलकों में यह संकेत गया है कि फडणवीस का मुख्यमंत्री बनने का रास्ता साफ हो गया है. उन्होंने यह भी कहा कि फडणवीस उनके राजनीतिक सहयोगी हैं और उन्हें उन्होंने ही राजनीति में लाया है. यह बात 16 आने सच है. फडणवीस ने राजनीति गडकरी की छत्रछाया में ही सीखी है और उनकी राजनीति पर गडकरी की छाप भी दिखती है. फडणवीस प्रतिद्वंद्वियों के तीखे कटाक्ष पर भी संतुलन बनाये रहते हैं और सहजता से जवाब देते हैं. उनकी पत्नी एक निजी बैंक में नौकरी करती हैं.

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