आरबीआई गवर्नर ने कहा, भारत के पेमेंट प्रोडक्ट्स को ग्लोबलाइज करने की जरूरत

रिजर्व बैंक के भुगतान विजन 2025 के तहत हम 'ई-पेमेंट सभी के लिए, हर जगह-हर वक्त' के ध्येय के लिए प्रतिबद्ध हैं. हमें अपने भुगतान उत्पादों का अंतरराष्ट्रीयकरण करने के लिए हर अवसर का लाभ उठाना चाहिए. यह एक नयी दुनिया खोलेगा.

By KumarVishwat Sen | March 18, 2023 10:41 PM

कोच्चि : भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के गवर्नर शक्तिकांत दास ने शनिवार को भुगतान उत्पादों के अंतरराष्ट्रीयकरण पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि भारत की जी20 अध्यक्षता का इस्तेमाल वैश्विक स्तर पर भारत की ई-भुगतान कहानी को बताने और यूपीआई तथा रूपे जैसे भुगतान उत्पादों के अंतरराष्ट्रीयकरण के लिए करना चाहिए. उन्होंने कहा कि यहां भुगतान प्रणाली परिचालक (पीएसओ) सम्मेलन का उद्घाटन करते हुए कहा कि भारत के स्वदेशी भुगतान उत्पाद जैसे – यूपीआई और रुपे नेटवर्क अपनी वैश्विक उपस्थिति बढ़ा रहे हैं और इनसे सीमा पार भुगतान आसान होगा.

उन्होंने कहा कि रिजर्व बैंक के भुगतान विजन 2025 के तहत हम ‘ई-पेमेंट सभी के लिए, हर जगह-हर वक्त’ के ध्येय के लिए प्रतिबद्ध हैं. हमें अपने भुगतान उत्पादों का अंतरराष्ट्रीयकरण करने के लिए हर अवसर का लाभ उठाना चाहिए. यह एक नयी दुनिया खोलेगा. हमारे देश के लिए अवसर तैयार होंगे. यह जी20 की भारत की अध्यक्षता का साल है. आइए, हम भारत की कहानी पूरी दुनिया को बताएं.

आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने आगे कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था के तेजी से वैश्विक प्रणाली के साथ जुड़ने के साथ ही सीमा पार भुगतान अधिक महत्वपूर्ण हो गया है. उन्होंने कहा कि यूपीआई और रूपे नेटवर्क जैसे हमारे घरेलू भुगतान उत्पाद अपनी वैश्विक पहुंच बढ़ा रहे हैं। सिंगापुर के पेनाउ के साथ यूपीआई को जोड़ने की शुरुआत इस दिशा में एक बड़ा कदम है.

Also Read: UPI News : अब भारत आने वाले जी-20 देशों के यात्री भी यूपीआई के जरिये कर सकेंगे पेमेंट
क्या है यूपीआई पेमेंट

यूनिफायड पेमेंट इंटरफेस (यूपीआई) एक ऐसा सिस्टम है, जिससे पलक झपकते पेमेंट हो जाता है. इसकी मदद से मोबाइल प्लैटफॉर्म पर दो पक्ष एक-दूसरे को पैसे ट्रांसफर कर सकते हैं. किसी भी यूपीआई प्लेटफॉर्म में बैंक खाता जोड़ने के लिए यह जरूरी है कि आपके संबंधित बैंक में यूपीआई की सुविधा मौजूद हो.

Next Article

Exit mobile version