सब्सिडी वाले LPG सिलेंडरों की नहीं घटेगी संख्‍या : प्रधान

नयी दिल्ली : केन्‍द्र सरकार हर परिवार को मिलने वाली सब्सिडीयुक्‍त सिलेंडरों की संख्‍या नहीं घटायेगी. सरकार ने स्‍पष्‍ट किया कि प्रति परिवार मौजूदा 12 सब्सिडीयुक्त रसोई गैस सिलेंडर की आपूर्ति में कमी नहीं आयेगी, सरकार जून तक देशभर में उपभोक्ताओं को नकद सब्सिडी उपलब्ध कराने पर ध्यान दे रही है. पेट्रोलियम मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान […]

By Prabhat Khabar Print Desk | October 24, 2014 6:10 PM

नयी दिल्ली : केन्‍द्र सरकार हर परिवार को मिलने वाली सब्सिडीयुक्‍त सिलेंडरों की संख्‍या नहीं घटायेगी. सरकार ने स्‍पष्‍ट किया कि प्रति परिवार मौजूदा 12 सब्सिडीयुक्त रसोई गैस सिलेंडर की आपूर्ति में कमी नहीं आयेगी, सरकार जून तक देशभर में उपभोक्ताओं को नकद सब्सिडी उपलब्ध कराने पर ध्यान दे रही है. पेट्रोलियम मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान ने पीटीआई-भाषा को दिये एक साक्षात्कार में कहा, वास्तव में सब्सिडीयुक्त एलपीजी कोटा (प्रति परिवार) कटौती का कोई प्रस्ताव नहीं है.

नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली राजग सरकार ने अगस्त में सब्सिडी वाले 14.2 किलो के 12 सिलेंडर साल में कभी भी लेने की आजादी दी जबकि इससे पहले महीने में केवल एक सब्सिडी वाला सिलेंडर लिया जा सकता था. प्रधान ने कहा कि मंत्रिमंडल ने पिछले शनिवार को सब्सिडीयुक्त एलपीजी के लिये उसके मौजूदा मूल्य तथा वास्तविक बाजार भाव में अंतर के बराबर नकद सब्सिडी सीधे उपभोक्ता के बैंक खाते में डालने के लिये प्रत्यक्ष लाभ अंतरण योजना को सुधार के साथ जारी किया.

नयी योजना में पिछली सरकार में शुरू की गयी योजना की तरह नकद सब्सिडी लेने के लिये आधार कार्ड का होना अनिवार्य नहीं है. फिलहाल संशोधित प्रत्यक्ष लाभ अंतरण योजना (डीबीटी) को 54 जिलों में शुरू किया जा रहा है और एक जनवरी से इसे देश के सभी शेष जिलों में लागू किया जाएगा. पेट्रोलियम मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान ने कहा, हम उम्मीद करते हैं कि तीन महीने में सभी जिलों में इसका विस्तार हो जाएगा और अगले तीन महीनों के दौरान ज्यादातर ग्राहकों को इसमें शामिल कर लिया जायेगा. अत: आप कह सकते हैं कि जून तक बहुसंख्यक एलपीजी उपभोक्ता इसके दायरे में होंगे.

जनधन योजना के खातों में जायेगी एलपीजी सब्सिडी

जनधन योजना के तहत खातें खोलने वाले एलपीजी उपभोक्ता भी संशोधित योजना से लाभान्वित होंगे. इस योजना के तहत अब तक 6 करोड से अधिक खाते खोले गये हैं और साल के अंत तक 4 करोड और खाते खोलने का लक्ष्य रखा गया है. इस योजना का मकसद प्रति परिवार कम-से-कम एक बैंक खाता होने का लक्ष्य रखा गया है. फिलहाल एलपीजी उपभोक्ताओं के बैंक खातों को उनके रसोई गैस संख्या से जोडा जा रहा है. यह हो जाने पर नकद सब्सिडी बैंक खातों में सीधे भेजी जा सकेगी ताकि उपभोक्ता एलपीजी सिलेंडर बाजार दर पर खरीद सके.

उपभोक्ताओं को सालभर में 12 सिलेंडर सब्सिडी पर मिलते हैं. दिल्ली में सब्सिडी वाले एक सिलेंडर की कीमत 414 रुपये है. अतिरिक्त सिलेंडर बाजार मूल्य 880 रुपये में मिलेगा. पेट्रोलियम मंत्री ने कहा कि मोदी सरकार गरीबों के हितों के लिये काम कर रही है और साथ ही वह देश में कारोबार करने को सुगम भी बनाएगी. उन्होंने कहा, सुधार और गरीब समर्थक होना विरोधाभासी नहीं है. गरीब समर्थक होने का यह मतलब नहीं है कि सुधार की गाडी आगे नहीं बढेगी. पूर्व संप्रग सरकार ने एलपीजी के लिये डीबीटी को आधार संख्या से जोडा था. लेकिन इसमें कुछ अदालती आदेश समेत कानूनी मुद्दे थे. अदालत के आदेश से योजना के इस रूप से क्रियान्वयन पर रोक लगायी गयी है.

इसीलिए नयी सरकार ने यह निर्णय किया कि आधार के अलावा जिन लोगों के भी बैंक खाते हैं, उन्हें सीधे उनके खाते में एलपीजी सब्सिडी मिलेगी. पेट्रोलियम मंत्री ने कहा कि योजना को मिशन मोड में क्रियान्वित किया जाएगा. ऐसा कोई ग्राहक नहीं होगा जिन्हें आधार संख्या न होने पर एलपीजी देने से मना किया जाएगा. प्रधान ने कहा कि सरकार डीबीटी के तहत दी जाने वाली सब्सिडी राशि तय करने पर काम कर रही है.

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