पश्चिम बंगाल में लगेगा राष्ट्रपति शासन! बंगाल में चुनाव के बाद हिंसा पर सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल

बंगाल में राष्ट्रपति शासन लागू करने के साथ ही हत्याओं की जांच के लिए एसआइटी गठन की मांग की गयी है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 20, 2021 11:52 AM

कोलकाता : पश्चिम बंगाल में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गयी है. वरिष्ठ अधिवक्ता घनश्याम उपाध्याय ने यह जनहित याचिका दायर की है. इसमें कहा गया है कि राज्य में विधानसभा चुनाव के बाद राजनीतिक हिंसा में अब तक 16 से अधिक भाजपा कार्यकर्ताओं की हत्या हो चुकी है.

याचिका में कहा गया है कि राज्य में कानून-व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है. इसलिए यहां संविधान की धारा 356 के तहत राष्ट्रपति शासन लागू करना चाहिए. याचिका में पश्चिम बंगाल में राष्ट्रपति शासन लागू करने के साथ ही इन हत्याओं की जांच के लिए स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (एसआइटी) गठित करने की मांग की गयी है.

इसके साथ ही याचिकाकर्ता ने सुप्रीम कोर्ट को पश्चिम बंगाल के राज्यपाल से कानून-व्यवस्था पर रिपोर्ट तलब करने का आग्रह किया है. याचिका में दावा किया गया है कि बंगाल में कानून-व्यवस्था खतरे में है. राज्य का प्रशासनिक तंत्र पूरी तरह विफल हो चुका है. इस वजह से राज्य में राजनीतिक हिंसा का दौर जारी है. इन हत्याओं को रोकने के लिए बंगाल में राष्ट्रपति शासन लगाना जरूरी है.

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BJP के 16 कार्यकर्ताओं की मौत

उल्लेखनीय है कि बंगाल में विधानसभा चुनाव 2021 के बाद कथित तौर पर सत्तारूढ़ दल तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने जमकर उत्पात मचाया, जिसमें भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के 16 से अधिक कार्यकर्ताओं की मौत हो गयी. हिंसा के लिए भाजपा ने तृणमूल कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया है, तो टीएमसी ने भाजपा को.

इस बीच, कलकत्ता हाइकोर्ट ने हिंसा से निबटने के लिए ममता बनर्जी की सरकार की ओर से उठाये गये कदमों की प्रशंसा की थी. हाइकोर्ट के उस बयान को आधार बनाकर तृणमूल कांग्रेस के नेता सत्तारूढ़ दल का बचाव कर रहे हैं, जबकि भाजपा लगातार ममता बनर्जी की सरकार पर हमलावर है.

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Posted By: Mithilesh Jha

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