कोलकाता : एपीजे कोलकाता लिटरेरी फेस्टिवल 2019 का उद्घाटन

कोलकाता : एपीजे कोलकाता लिटरेरी फेस्टिवल 2019 के 10वें वार्षिकोत्सव का उद्घाटन शुक्रवार को एलेन पार्क में किया गया, जिसमें पहली बार बच्चों के त्योहार ‘द ऑक्सफोर्ड जूनियर लिटरेरी फेस्टिवल को शामिल किया गया है. यह 10वां वार्षिकोत्सव भाग 18 से 20 जनवरी को बंगाल के चार ऐतिहासिक जगहों पार्क मेंशन लॉन, एलीयंस फ्रैंचाइज, मैक्समूलर […]

By Prabhat Khabar Print Desk | January 19, 2019 6:18 AM
कोलकाता : एपीजे कोलकाता लिटरेरी फेस्टिवल 2019 के 10वें वार्षिकोत्सव का उद्घाटन शुक्रवार को एलेन पार्क में किया गया, जिसमें पहली बार बच्चों के त्योहार ‘द ऑक्सफोर्ड जूनियर लिटरेरी फेस्टिवल को शामिल किया गया है.
यह 10वां वार्षिकोत्सव भाग 18 से 20 जनवरी को बंगाल के चार ऐतिहासिक जगहों पार्क मेंशन लॉन, एलीयंस फ्रैंचाइज, मैक्समूलर भवन पार्क मेंशन, ऐलेन पार्क, डेवलपमेंट कंस्लटेंट्स प्राइवेट लिमिटेडस योर स्पेस ऑफ सेलिसा हाउस, टॉलीगंज क्लब व कोलकाता क्लब ऑफ क्रिएटीविटी में किया जाएगा.
उद्घाटन कार्यक्रम में ‘एबीसी ऑफ फीट एंड फन मूवस’ अनीता रतनाम, कूनूर कृपलानी, तनुश्री शंकर, इंद्रानी दासगुप्ता पॉल व परिवार एवं 300 बच्चों के साथ सम्पन्न हुआ.
13 साल की उम्र से लिखने में रूची
‘टाइम विल सेज नथिंग बट आई टोल्ड यू सो’ परिचर्चा के दौरान जानीमानी उपन्यास लेखिका अनुराधा रॉय ने कहा कि 13 साल की उम्र में जब उनके पिताजी ने उन्हें लेखनी में गंभीर पाया. उस समय उन्होंने अनुराधा जी को टाइप राइटर लाकर दिया था, जो उन्हें लेखनी के लिए प्रेरित की. उन्होंने अपने बचपन के एकाकीपन को सभी से साझा किया.
स्टील द सेंकेड सेक्स पर परिचर्चा
सीमोन दे बियवर की पुस्तक ‘द सेकेंड सेक्स’ पर परिचर्चा के दौरान रूचिरा गुप्ता, परोमिता चक्रवर्ती, सैकत मजुमदार ने भी अपने विचार रखे. महिलाओं को किस प्रकार पुरूषों से अलग करके मात्र घरेलू महिला के रूप में स्थापित कर दिया जाता है. उन्होंने बताया कि सीमोन ने अपनी पुस्तक में इसका पुरजोर विरोध किया है.
महिलाओं के साथ सबसे बड़ी समस्या उसकी जाति, वर्ग इत्यादि में पूरी तरह बटा हुआ होना बताया. उन्होंने कहा कि मी टू अभियान के द्वारा महिलाओं ने दर्द प्रकट किये.

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