दो महीने बाद ममता की कैबिनेट में पड़ेगी फूट, BJYM नेता की गिरफ्तारी से बिफरे भाजपा सांसद सौमित्र खां ने कही यह बात

भारतीय जनता युवा मोर्चा (भाजयुमो) के नेता की गिरफ्तारी से गुस्साये भारतीय जनता पार्टी के विष्णुपुर के सांसद ने कहा है कि पुलिस की लाठी का डर नहीं है. दो महीने का वक्त दीजिए. ममता बनर्जी के मंत्रिमंडल में दरार पड़ेगी. वर्ष 2021 के विधानसभा चुनाव में भाजपा 200 से अधिक सीटें जीतकर सरकार बनायेगी और उसके बाद तृणमूल कांग्रेस की गुलाम बन चुकी पुलिस से सूद समेत बदला लिया जायेगा.

By Prabhat Khabar Print Desk | September 12, 2020 9:15 PM

आसनसोल : भारतीय जनता युवा मोर्चा (भाजयुमो) के नेता की गिरफ्तारी से गुस्साये भारतीय जनता पार्टी के विष्णुपुर के सांसद ने कहा है कि पुलिस की लाठी का डर नहीं है. दो महीने का वक्त दीजिए. ममता बनर्जी के मंत्रिमंडल में दरार पड़ेगी. वर्ष 2021 के विधानसभा चुनाव में भाजपा 200 से अधिक सीटें जीतकर सरकार बनायेगी और उसके बाद तृणमूल कांग्रेस की गुलाम बन चुकी पुलिस से सूद समेत बदला लिया जायेगा.

विष्णुपुर के सांसद सह भारतीय जनता युवा मोर्चा (भाजयुमो) के प्रदेश अध्यक्ष सौमित्र खां ने कहा कि पुलिस तृणमूल नेताओं की गुलाम हो चुकी है. भाजयुमो के प्रदेश सचिव बप्पा चटर्जी की गिरफ्तारी के खिलाफ शनिवार सुबह आसनसोल में पुलिस आयुक्त कार्यालय के मुख्य द्वार को रोककर भाजपा कार्यकर्ताओं ने प्रदर्शन किया. इसी दौरान सौमित्र खां ने ये बातें कहीं.

सौमित्र खां ने कहा कि इस मुद्दे पर जिला सहित पूरे राज्य में सोमवार को जगह-जगह विरोध-प्रदर्शन किया जायेगा. हालांकि, उन्होंने बंद की बात से इनकार किया. उन्होंने कहा कि नीट की परीक्षा होने के कारण यह आंदोलन सोमवार को करने का निर्णय लिया गया है. मामला भाजयुमो नेता बप्पा की गिरफ्तारी से जुड़ा है. आसनसोल नगर निगम के भवन पर बांग्ला, अंग्रेजी, उर्दू और हिंदी में आसनसोल नगर निगम का नाम लिखा हुआ साइनबोर्ड है.

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नगर निगम के कानूनी सलाहकार सायंतन मुखर्जी ने आसनसोल साउथ थाने में शिकायत दर्ज करायी कि नगर निगम भवन पर चार भाषा में लिखे नाम में से बांग्ला भाषा को हटाकर सिर्फ तीन भाषा के बोर्ड का फोटो सोशल मीडिया में डालकर नगर निगम की छवि को बिगाड़ने का प्रयास किया गया है. साजिश के तहत शहर में भाषायी विभेद पैदा करने की कोशिश की गयी है.

शिकायत के आधार पर पुलिस ने आसनसोल साउथ थाना में मुकदमा दर्ज कर लिया. आइपीसी की धारा 153 (अवैध बात करके उपद्रव भड़काने)/ 153ए (धर्म, भाषा, नस्ल बगैरह के आधार पर नफरत फैलाने की कोशिश)/ 504 (शांति भंग करने के इरादे से जानबूझकर अपमान करने)/ 505 (2) (विभिन्न समुदायों के बीच शत्रुता, घृणा या वैमनस्य की भावनाएं पैदा करने के आशय से झूठा बयान फैलाना) और 120बी (साजिश के तहत घटना को दिया गया अंजाम) के तहत केस दर्ज किया गया.

इसी प्राथमिकी के आधार पर भाजयुमो के प्रदेश सचिव बप्पा चटर्जी को शुक्रवार की रात को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया. बाप्पा की गिरफ्तारी की सूचना मिलते ही संगठन के कार्यकर्ता आसनसोल थाना में जमा हो गये. रात भर वे थाना में जमे रहे. उन्हें डर था कि बप्पा पर पुलिस शारीरिक अत्याचार कर सकती है. गिरफ्तारी की सूचना स्थानीय नेताओं ने भाजयुमो के प्रदेश अध्यक्ष सौमित्र खां को दी.

सुबह-सुबह सौमित्र खां आसनसोल साउथ थाना पहुंचे और बप्पा की रिहाई की मांग की. पुलिस ने इससे इनकार कर दिया. इसके बाद सौमित्र खां अपने समर्थकों के साथ पुलिस आयुक्त कार्यालय के समक्ष रिहाई की मांग करते हुए धरना पर बैठ गये. पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया. हालांकि, बाद में पीआर बांड पर उनको कार्यकर्ताओं के साथ रिहा कर दिया.

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इधर, शनिवार को बप्पा को आसनसोल जिला अदालत में मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी (सीजेएम) के समक्ष पेश किया गया. कांड के जांच अधिकारी ने इस कांड में अन्य साजिशकर्ताओं की गिरफ्तारी के लिए पांच दिनों की पुलिस रिमांड की अपील की. अदालत ने तीन दिनों की रिमांड मंजूर कर बप्पा को पुलिस के हवाले कर दिया. अदालत परिसर भाजपा कर्मियों से खचाखच भरा था.

Posted By : Mithilesh Jha

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