सभी धर्मांतरित हिंदूओं को घर वापस लायेंगे : भागवत

कोलकाता : राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के सरसंघचालक मोहन भागवत ने आज घर वापसी कार्यक्रम पर कहा कि अगर आपको धर्मांतरण से एतराज है तो धर्मांतरण के खिलाफ संसद में कानून लाइए . उन्होंने कहा कि अगर हिंदू को परिवर्तन नहीं करना है, तो हिंदू का भी परिवर्तन नहीं होना चाहिए. भागवत ने कहा कि […]

By Prabhat Khabar Print Desk | December 20, 2014 3:53 PM

कोलकाता : राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के सरसंघचालक मोहन भागवत ने आज घर वापसी कार्यक्रम पर कहा कि अगर आपको धर्मांतरण से एतराज है तो धर्मांतरण के खिलाफ संसद में कानून लाइए .

उन्होंने कहा कि अगर हिंदू को परिवर्तन नहीं करना है, तो हिंदू का भी परिवर्तन नहीं होना चाहिए. भागवत ने कहा कि आज हिंदू समाज जग रहा है. हिंदू को किसी से डरने की जरूरत नहीं है. उन्होंने काफी बेबाकी से कहा कि दुनिया में उल्टी सीधी चर्चा करने वाले लोग बहुत हैं, लेकिन उससे मन में शंका लाने की जरूरत नहीं है.

उन्होंने कहा कि हम हिंदू कहीं और से घुसपैठ करके नहीं आये हैं, न ही कहीं और से यहां बसने आये हैं, यह हमारा हिंदू राष्ट्र है. उन्होंने जोर देकर कहा कि जो भूले-भटके हमसे बिछड़ गये हैं हम उन्हें वापस लायेंगे. उन्हें जोर-जबरदस्ती से हमसे छीना गया है.

भागवत ने कहा कि जब-जब हिंदू समाज की उन्नति हुई है तब-तब सभी प्रकार के संकट से ग्रस्त दुनिया को सुख-शांति का नया रास्ता मिला है.

उन्होंने कहा कि पाकिस्तान भी कभी भारत भूमि था, लेकिन वहां हिंदुओं को खड़ा होने लायक नहीं छोड़ा गया और अब वह सुख में है या दुख में आप सब देख रहे हैं.

हिंदू संगठनों का घर वापसी कार्यक्रम : पिछले कुछ दिनों में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ और उससे जुड़े कुछ अनुषांगिक संगठनों ने विभिन्न स्थानों पर घर वापसी कार्यक्रम का आयोजन किया, जिसमें प्रमुख रूप से पश्चिमी उत्तरप्रदेश और गुजरात के कुछ इलाके शामिल हैं. आगरा में हुए कार्यक्रम में एक विशेष संप्रदाय के कुछ लोगों ने घर वापसी कार्यक्रम के माध्यम से हिंदू धर्म को अपनाया था. जिसके बाद से संसद के शीतकालीन सत्र में खूब हंगामा हुआ. यहां तक कि राज्यसभा की कार्यवाही लगातार बाधित रही और विपक्ष प्रधानमंत्री से इस मुद्दे पर बयान की मांग करता रहा.

अमित शाह का बयान : बीजेपी जबरन धर्मांतरण के खिलाफ है और इसलिए वह कानून लाना चाहती है. तथाकथित धर्मनिरपेक्ष दलों को बीजेपी की पहल का समर्थन करना चाहिए. यह पूछे जाने पर कि क्या बीजेपी इस मुद्दे पर अल्पसंख्यक संगठनों से बातचीत करने को तैयार है.

बीजेपी अध्यक्ष ने कहा, इस विषय पर राजनीतिक दलों में सहमति बनने पर ही इस पर सार्वजनिक चर्चा की जा सकती है. उत्तर प्रदेश में संघ के ‘घर वापसी’ कार्यक्रम की खबर के बारे में पूछे जाने पर अमित शाह ने कहा, यह मामला अदालत के समक्ष है. अदालत ने इसपर टिप्‍पणी भी की है. मैं इस पर कोई टिप्पणी नहीं करना चाहूंगा.

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