विदेश में नौकरी दिलाने के नाम पर लाखों लेकर फरार

गोराबाजार गेस्ट हाउस की घटना कोलकाता : मलेशिया में नौकरी दिलाने के नाम पर यूपी के सौ से ज्यादा युवकों से लाखों की ठगी करनेवाले एक बड़े गिरोह का पर्दाफाश हुआ है. इस अंतरराज्यीय गिरोह ने करीब 27 लड़कों को यूपी के विभिन्न जगहों से नौकरी का झांसा देकर कोलकाता बुलाया और फिर यहां उन्हें […]

By Prabhat Khabar Print Desk | February 21, 2018 3:26 AM

गोराबाजार गेस्ट हाउस की घटना

कोलकाता : मलेशिया में नौकरी दिलाने के नाम पर यूपी के सौ से ज्यादा युवकों से लाखों की ठगी करनेवाले एक बड़े गिरोह का पर्दाफाश हुआ है. इस अंतरराज्यीय गिरोह ने करीब 27 लड़कों को यूपी के विभिन्न जगहों से नौकरी का झांसा देकर कोलकाता बुलाया और फिर यहां उन्हें दमदम थाना क्षेत्र के गोराबाजार इलाके में एक गेस्ट हाउस में दो दिनों से ठहरा कर झांसे में रखा और उनके पासपोर्ट समेत कई दस्तावेज लेकर फरार हो गये. स्थानीय सूत्रों के मुताबिक यूपी के विभिन्न जगहों से करीब 100 से ज्यादा युवकों से रुपए लिये गये हैं. इनमें से 27 लोगों को गेस्ट हाउस में छोड़कर गिरोह के लोग फरार हो गये.
उनके नाम शमाकांत, पारसराज भर, अर्जुन, राजदेव यादव, बृजेश राजभर, संदीप कुमार यादव, अलोक कुमार गौड़, अष्टभुजा, रामू प्रसाद, संतोष कुमार गुप्ता, राजकुमार, अजय निशाद, दिनेश चौहान, रोहित कुमार,बीरेंद्र कुमार, राजकुमार भारती, बृजेश कुमार भारती, अशोक कुमार यादव, बृजेश कुमार, सुनील कुमार, धर्मेंद्र कुमार यादव, प्रशुराम यादव,जगदीश कुमार गुप्ता, गणेश कुमार यादव, सुरेश प्रजापति और अनिल कुमार हैं.
क्या है मामला : स्थानीय सूत्रों के मुताबिक यूपी में एक विज्ञापन के जरिए मलेशिया में नौकरी का झांसा दिया गया था. यूपी के गोरखपुर और महाराजगंज समेत कई जगहों के अधिकांश लोगों से इस गिरोह ने यूपी में रुपए इकट्टे किये और फिर इसमें से 27 लोगों को दो दिन पहले ही एयरपोर्ट से मलेशिया जाने के लिए कोलकाता बुलाया गया और फिर यहां बुलाकर इनके पासपोर्ट समेत सारे दस्तावेज रख लिए गये. सभी को दो दिनों से गोरबाजार के आरएन गुहा रोड स्थित एक गेस्ट हाउस में रखा ठहराया. आरोप है कि जितेंद्र सिंह और अनूप पांडेय ने इन सभी से संपर्क कर गेस्ट हाउस में इन्हें लाकर रखा था. दो दिन रखने के बाद मंगलवार को दोनों आरोपी फरार हो गये.
इस संबंध में दमदम थाने के अधिकारी से पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि इस तरह की शिकायत मिली है लेकिन लिखित शिकायत दर्ज नहीं हुई है लेकिन वे मामले को देख रहे हैं. बैरकपुर के पुलिस कमिशनर आरके सिंह को सूचित किया गया. उन्होंने मामले की पूरी जांच का आश्वासन दिया है.

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