Indian Railways News/IRCTC: सिमडेगा, चतरा और खूंटी को रेल नेटवर्क से जोड़ने की तैयारी

Indian Railways News, IRCTC News, Jharkhand News, CM Hemant Soren: झारखंड के तीन जिलों सिमडेगा, चतरा और खूंटी को रेल नेटवर्क से जोड़ने की तैयारी चल रही है. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने झारखंड राज्य में भविष्य में रेल परियोजनाओं के निर्माण और उन पर होनेवाले खर्च पर सुझाव देने के लिए विकास आयुक्त की अध्यक्षता में बनी समिति की ओर से मिले प्रतिवेदन को मंजूरी दे दी है.

By Prabhat Khabar Print Desk | November 26, 2020 8:13 PM

Indian Railways News, IRCTC News: रांची : झारखंड के तीन जिलों सिमडेगा, चतरा और खूंटी को रेल नेटवर्क से जोड़ने की तैयारी चल रही है. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने झारखंड राज्य में भविष्य में रेल परियोजनाओं के निर्माण और उन पर होनेवाले खर्च पर सुझाव देने के लिए विकास आयुक्त की अध्यक्षता में बनी समिति की ओर से मिले प्रतिवेदन को मंजूरी दे दी है.

समिति ने सलाह दी है कि अति महत्वपूर्ण रेल परियोजनाओं के निर्माण पर आने वाला खर्च केंद्र और राज्य सरकार 50-50 प्रतिशत वहन करेगी. वहीं, राज्य के वैसे जिला मुख्यालयों, जो अभी तक रेल से नहीं जुड़े हैं, उन्हें जोड़ा जाये. इसके लिए भी समिति ने अहम सुझाव दिये हैं. समिति ने महत्वपूर्ण रेल परियोजनाओं को ज्वाइंट वेंचर के तौर पर शुरू करने तथा राज्य के अंदर की रेल परियोजनाओं की पहचान, योजना और उसके विकास में जेआरआईडीसीएल को एंकर रोल निभाने के सुझाव दिये हैं.

विकास आयुक्त की अध्यक्षता वाली समिति ने कहा है कि वैसी रेल परियोजनाएं, जो राज्य के सामाजिक-आर्थिक विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती हैं, उसके निर्माण में होने वाले खर्च में केंद्र और राज्य सरकार की 50-50 प्रतिशत हिस्सेदारी होगी. ऐसी रेल परियोजनाओं के निर्माण में होने वाले खर्च में राज्य सरकार की हिस्सेदारी बढ़ती है, तो इसे रेलवे अथवा ज्वाइंट वेंचर के जरिये बनाया जायेगा.

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जिला मुख्यालयों को रेल से जोड़ने पर सलाह

राज्य के सिमडेगा, चतरा और खूंटी समेत वैसे जिला मुख्यालय, जो अब भी रेल मार्ग से नहीं जुड़े हैं, उन्हें रेल नेटवर्क से जोड़ने से संबंधित सुझाव भी समिति ने दिये हैं. कहा है कि राज्य के दूरस्थ इलाकों में रेल कनेक्टिविटी से संबंधित योजनाओं में राज्य सरकार की हिस्सेदारी कम होगी, लेकिन ऐसे क्षेत्रों की पहचान में जेआरआईडीसीएल भूमिका निभायेगा.

ज्वाइंट वेंचर मॉडल

वैसी रेल परियोजनाएं, जो वित्तीय रूप से लाभदायक नहीं हैं, लेकिन राज्य में क्रिटिकल कनेक्टिवटी, कैपासिटी इनहांसमेंट और सामाजिक आर्थिक विकास के लिहाज से जरूरी है, को ज्वाइंट वेंचर के डेब्ट इक्विटी कॉन्सेप्ट पर लिया जायेगा. ऐसी रेल परियोजनाओं के खर्च को लेकर राशि बाहरी स्रोतों (प्राइवेट/गवर्नेंट स्टेकहोल्डर्स और लोन) से जुटायी जायेगी.

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एंकर रोल की भूमिका में होगा

राज्य की जरूरतों को देखते हुए रेल परियोजनाओं की पहचान, योजना बनाने और उसके विकास में राज्य की ज्वाइंट वेंचर-जेआरआईडीसीएल (राज्य सरकार और रेल मंत्रालय) एंकर रोल निभायेगा. ऐसी रेल परियोजनाओं के लिए बनाये जाने वाले ज्वाइंट वेंचर में राज्य सरकार और रेलवे मंत्रालय की हिस्सेदारी 51-49 के अनुपात में होगी. इन रेल परियोजनाओं का वित्त वहन डेब्ट इक्विटी के आधार पर होगा. सिमिति में विकास आयुक्त के अलावा योजना एवं वित्त विभाग के सचिव, राजस्व, निबंधन और भूमि सुधार विभाग के सचिव, पथ निर्माण विभाग के सचिव और परिवहन विभाग के सचिव सदस्य हैं.

Posted By : Mithilesh Jha

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