डीएसपी किशोर ने उठाया मुद्दा, कहा झारखंड में जाति विशेष के लोगों की होती है पोस्टिंग, पैसे का चलता है खेल

झारखंड में जाति विशेष के लोगों की होती है पोस्टिंग, पैसे का चलता है खेल डीएसपी किशोर कुमार रजक ने फेसबुक पर रखी अपनी बात रांची : झारखंड पुलिस में तबादला एक बार फिर से सवालों के घेरे में आ गया है. सोमवार को 45 डीएसपी के तबादला पर एसआइआरबी-2 खूंटी में तैनात डीएसपी किशोर […]

By Prabhat Khabar Print Desk | February 20, 2019 7:45 AM
  • झारखंड में जाति विशेष के लोगों की होती है पोस्टिंग, पैसे का चलता है खेल
  • डीएसपी किशोर कुमार रजक ने फेसबुक पर रखी अपनी बात
रांची : झारखंड पुलिस में तबादला एक बार फिर से सवालों के घेरे में आ गया है. सोमवार को 45 डीएसपी के तबादला पर एसआइआरबी-2 खूंटी में तैनात डीएसपी किशोर कुमार रजक ने सवाल खड़े किये. फेसबुक वॉल पर उन्होंने लिखा कि झारखंड में जाति विशेष के लोगों की पोस्टिंग होती है, पैसे का खेल चलता है. हालांकि देर शाम उन्होंने फेसबुक पर डाला पोस्ट भी डिलिट कर दिया था.
जोश, ऊर्जा, ईमानदारी, मेहनत, मेरिट सब बकवास : डीएसपी किशोर रजक ने यह भी लिखा कि बचपन में जातीय भेदभाव का शिकार नहीं हुआ था.
अब पढ़-लिखकर कुछ बना हूं, तो धीरे-धीरे अपनी सदियों से वंचित जाति के होने का एहसास कर रहा हूं. जोश, ऊर्जा, ईमानदारी, मेहनत, मेरिट यह सब बकवास लगने लगा है. यदि पैसा, पैरवी और किसी खास जाति का होना ही मेरिट है, तो इसे कहां से लाऊं. एसआइआरबी-02 खूंटी में एक माह पहले ही दो डीएसपी की पोस्टिंग हुई थी. उन लोगों का सोमवार को ट्रांसफर हो गया. एसआइआरबी में अभी मैं ही हूं.
असम, छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश, राजस्थान ड्यूटी के लिए भेजा जा चुका हूं. झारखंड के भी कई जिलों में ड्यूटी कर चुका हूं. अब कब और कहां ड्यूटी के लिए भेजा जाएगा पता नहीं. बाकी मित्र की तरह स्थायी रूप से काम नहीं कर पा रहा हूं. मानसिक रूप से परेशान हूं. (जय हिंद ! जय भारत !).
पत्नी से विवाद को लेकर पहले भी रहे चर्चा में :
पूर्व में डीएसपी किशोर रजक पत्नी के साथ मारपीट के आरोप को लेकर चर्चा में आये थे. उनकी पत्नी ने रामगढ़ महिला थाने में उन पर प्रताड़ित करने, मारपीट करने सहित कई गंभीर आरोप लगाते हुए केस दर्ज कराया था. महिला आयोग की काउंसलिंग के बाद दोनों के विवाद का पटाक्षेप हुआ था. वर्तमान में दोनों साथ रह रहे हैं.
चार साल में पांच तबादला फुटबॉल बना दिया : एसडीओ
घाटशिला के एसडीओ अरविंद लाल का तबादला भी चर्चा में है. उन्हाेंने फेसबुक पर तबादले को लेकर फुटबॉल बना दिये जाने की बात भी कही गयी है. करीब चार साल में इनका पांच बार तबादला किया गया.
जुलाई 2015 में इन्हें राज्य निर्वाचन आयोग का अवर सचिव बनाया गया था. फिर जून 2016 में इन्हें पाकुड़ का एसडीओ बनाया गया. वहां से तबादला कर जून 2017 में घाटशिला का एसडीओ बनाया गया. कुछ माह बाद ही इन्हें वहां से भी हटा कर अगस्त 2018 में वेटिंग फॉर पोस्टिंग कर दी गयी. नवंबर 2018 में इन्हें योजना एवं वित्त विभाग का अवर सचिव बनाया गया. अब फिर से इन्हें दुमका का जिला भू-अर्जन पदाधिकारी बना दिया गया है.

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