हत्या के आरोपी को डंडे से पीटा, आर्थिक दंड लगाया

टीपीसी ने महुआडांड़ में लगायी जन अदालत महुआडांड़ : प्रखंड के ग्राम सिदरा स्थित जंगल में टीपीसी संगठन द्वारा जन अदालत का आयोजन किया गया. जानकारी के अनुसार, सिदरा गांव निवासी सत्येंद्र मुंडा (पिता रूखु मुंडा) की मौत छह अप्रैल 2015 को तालाब में डूबकर हो गयी थी. लेकिन सत्येंद्र के परिजनों ने इसे हत्या […]

By Prabhat Khabar Print Desk | February 15, 2017 11:25 PM
टीपीसी ने महुआडांड़ में लगायी जन अदालत
महुआडांड़ : प्रखंड के ग्राम सिदरा स्थित जंगल में टीपीसी संगठन द्वारा जन अदालत का आयोजन किया गया. जानकारी के अनुसार, सिदरा गांव निवासी सत्येंद्र मुंडा (पिता रूखु मुंडा) की मौत छह अप्रैल 2015 को तालाब में डूबकर हो गयी थी.
लेकिन सत्येंद्र के परिजनों ने इसे हत्या मान कर टीपीसी संगठन से उचित कार्रवाई करने के लिए आवेदन दिया था.परिजनों ने गांव के फूलचंद मुंडा पर हत्या का आरोप लगाया था. इसी मामले को लेकर 15 फरवरी को ग्राम सिदरा के जंगल में टीपीसी ने जन अदालत लगायी. इस जन अदालत में ग्राम धवाईटोली व सिदरा के काफी संख्या में महिला पुरुष शामिल हुए. जन अदालत में हत्या के आरोपी फूलचंद मुंडा को बुलाकर उससे पूछताछ की गयी. जब उसने सत्येंद्र की हत्या की बात नहीं कबूली तो उसे डंडे से पीटा गया. जन अदालत में ग्रामीणों से पूछ कर उस पर आर्थिक दंड लगाया और मृतक की बेटी को जमीन देने का फैसला सुनाया गया.
इधर, पत्रकारों को प्लाटून कमांडर अजय जी ने बताया कि जो क्रशर मशीन बंद है, वह बंद ही रहेगी. जंगल में नो इंट्री रहेगी. सभी आदिवासी मजदूर का जीवनयापन जंगल पर निर्भर है.
यह राष्ट्र की संपति है, लेकिन कुछ बिचौलिये जंगल से लकड़ी व पत्थर ले जाते हैं. आदिवासी हित को देखते हुए प्रतिबंध लगाया गया है, प्रतिबंध को तोड़ने वालों पर फौजी कार्रवाई की जायेगी. ज्ञात हो कि क्षेत्र में लंबे अरसे के बाद किसी संगठन द्वारा जन अदालत लगायी गयी है.

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