Jharkhand Govt School : पहली बार जनजातीय व क्षेत्रीय भाषा में होगी पहली व दूसरी कक्षा की परीक्षा

राज्य के सरकारी स्कूलों में वार्षिक परीक्षा छह जून से होगी. राज्य गठन के बाद पहली बार कक्षा एक व दो के बच्चों की परीक्षा जनजातीय व क्षेत्रीय भाषा में होगी. विद्यार्थियों को जनजातीय व क्षेत्रीय भाषा में उत्तर देने की छूट होगी.

By Prabhat Khabar | May 28, 2022 9:57 AM

Ranchi/Dhanbad : राज्य के सरकारी स्कूलों में वार्षिक परीक्षा छह जून से होगी. राज्य गठन के बाद पहली बार कक्षा एक व दो के बच्चों की परीक्षा जनजातीय व क्षेत्रीय भाषा में होगी. परीक्षा को लेकर झारखंड शिक्षा परियोजना ने जारी पत्र कहा है कि कक्षा एक व दो के बच्चों की परीक्षा मौखिक होगी. विद्यार्थियों को जनजातीय व क्षेत्रीय भाषा में उत्तर देने की छूट होगी. झारखंड शिक्षा परियोजना ने परीक्षा कार्यक्रम जारी कर दिया है. परीक्षा छह से 15 जून तक होगी.

बोर्ड परीक्षा की तर्ज पर होगा टेस्ट

कक्षा एक से सात तक की परीक्षा भी बोर्ड परीक्षा की तर्ज पर होगी. कुल सौ अंक की परीक्षा दो भागों में बांटी गयी है. 80 अंकों की लिखित परीक्षा होगी. लिखित परीक्षा में 40 अंक की परीक्षा में सभी प्रश्न वस्तुनिष्ठ होंगे, जबकि 40 अंक की परीक्षा में लघु व दीर्घ उत्तरीय सभी प्रकार के प्रश्न पूछे जायेंगे. 20 अंकों का आंतरिक मूल्यांकन होगा. परीक्षा के लिए तीन घंटा 15 मिनट का समय दिया जायेगा. दोनों परीक्षाओं के लिए विद्यार्थी को अलग-अलग प्रश्न उपलब्ध कराया जायेगा. रिजल्ट दोनों परीक्षाओं का अंक जोड़ कर जारी होगा.

एक जुलाई से शुरू होगा नया शैक्षणिक सत्र

एक जुलाई से नया शैक्षणिक सत्र शुरू होगा. रिपोर्ट कार्ड वितरण के दिन विद्यालय स्तर पर अभिभावकों के लिए संगोष्ठी आयोजित करने के लिए कहा गया है. बच्चों का रिपोर्ट कार्ड ई विद्यावाहिनी पोर्टल पर भी अपलोड करने के लिए कहा गया है. परीक्षा को लेकर जारी निर्देश में कहा गया है कि उत्तरपुस्तिका, प्रश्न पत्र व रिपोर्ट कार्ड की छपाई जिला स्तर पर होगी. समय पर नया शैक्षणिक सत्र शुरू हो सके इसके लिए रिजल्ट 30 जून तक जारी करने के लिए कहा गया है.

अपने स्कूल के शिक्षक नहीं जांचेंगे परीक्षा की कॉपी

कक्षा तीन से सात तक के विद्यार्थियों का मूल्यांकन संकुल स्तर पर होगा. इनमें एक संकुल के अंतर्गत आनेवाले सभी स्कूल की कॉपियों का मूल्यांकन किया जायेगा. शिक्षक अपने विद्यालय के विद्यार्थियों की कॉपी का मूल्यांकन नहीं करेंगे. एक संकुल के स्कूल की कॉपियों का मूल्यांकन दूसरे संकुल में किया जायेगा.

कक्षा पांच तक की पढ़ाई मातृभाषा में

नयी शिक्षा नीति में प्रारंभिक कक्षा की पढ़ाई बच्चों की मातृभाषा में देने की बात कही गयी है. राज्य सरकार ने भी चरणबद्ध तरीके से स्कूलों में प्रारंभिक कक्षा की पढ़ाई मातृभाषा में शुरू करने की योजना बनायी है. इसके लिए 4600 स्कूलों का चयन किया गया है. इसके तहत 250 स्कूलों में पांच जनजातीय भाषा में पढ़ाई शुरू की गयी है.

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