पीएलएफआइ के गढ़ में बनेंगी चार सड़कें
पहल. सड़कों के निर्माण पर होंगे तीन अरब खर्च दुर्जय पासवान गुमला : ए-श्रेणी उग्रवाद प्रभावित गुमला जिले में चार बड़ी सड़कें बनेगी. इस पर तीन अरब रुपये खर्च होंगे. ये चारों सड़कें गुमला जिला के लिए महत्वपूर्ण है. इसमें तीन सड़कें पीएलएफआई के गढ़ में है. आजादी के 69 साल बाद भी ये सड़कें […]
पहल. सड़कों के निर्माण पर होंगे तीन अरब खर्च
दुर्जय पासवान
गुमला : ए-श्रेणी उग्रवाद प्रभावित गुमला जिले में चार बड़ी सड़कें बनेगी. इस पर तीन अरब रुपये खर्च होंगे. ये चारों सड़कें गुमला जिला के लिए महत्वपूर्ण है. इसमें तीन सड़कें पीएलएफआई के गढ़ में है. आजादी के 69 साल बाद भी ये सड़कें चलने लायक नहीं बनी है. करीब 15 साल पहले ये सड़कें बनी थी, लेकिन घटिया निर्माण के कारण टूट गयी. इसके बाद उग्रवादियों के डर से सड़क पर दोबारा कभी काम शुरू नहीं हुआ. अब जब सड़क बनाने की मांग उठने लगी, तो सरकार गंभीर हुई.
जिला प्रशासन ने इसकी प्रक्रिया शुरू कर दी है. प्रशासनिक स्वीकृति मिलते ही टेंडर निकाल कर सड़कें बनाने का काम शुरू कर दिया जायेगा. इन चार सड़कों में एक सड़क चैनपुर से कुरूमगढ़ होते हुए कोटाम से खरका तक बनेगी. 41 किमी सड़क है. लागत एक अरब है. इस सड़क को बनाने के लिए खुद मुख्यमंत्री रघुवर दास भी लगे हुए हैं, क्योंकि इसी सड़क से होकर शहीद नायमन कुजूर के गांव उरू जाते हैं. मुख्यमंत्री ने आठ माह पहले घोषणा की है. कुरूमगढ़ की सड़क का नामकरण शहीद नायमन कुजूर के नाम से होगा.
दूसरी बड़ी सड़क परमवीर चक्र विजेता शहीद अलबर्ट एक्का के गांव से होकर बनेगी. यह सड़क लंबे समय से बेकार पड़ी है. गुमला प्रशासन जिस तेजी से काम कर रहा है, अगर सब कुछ ठीक ठाक रहा, तो एक महीने में प्रशासनिक स्वीकृति प्राप्त करने के बाद सड़क का काम शुरू किया जायेगा.
