जाम से मुक्ति दिलाने वाली बाईपास योजना अटकी

अनुमंडल क्षेत्र में सुगम यातायात व्यवस्था सुनिश्चित करने के उद्देश्य से वर्ष 2020 में तैयार की गई रिंग रोड एवं बाईपास सड़क योजना अब भी अधर में लटकी हुई है.

By VINAY PANDEY | November 30, 2025 6:23 PM

पुपरी. शहर को जाम की समस्या से छुटकारा दिलाने और अनुमंडल क्षेत्र में सुगम यातायात व्यवस्था सुनिश्चित करने के उद्देश्य से वर्ष 2020 में तैयार की गई रिंग रोड एवं बाईपास सड़क योजना अब भी अधर में लटकी हुई है. शहर के चारों ओर रिंग रोड के निर्माण तथा पुपरी–सीतामढ़ी, पुपरी–मधुबनी, पुपरी–रुन्नीसैदपुर, पुपरी–सुरसंड और चोरौत जैसे प्रमुख मार्गों पर भारी वाहनों की आवाजाही सुचारू करने हेतु यह महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट प्रस्तावित किया गया था.

मुख्यमंत्री सात निश्चय योजना पार्ट-2 के अंतर्गत इस परियोजना पर तत्कालीन एसडीओ नवीन कुमार की अध्यक्षता में पथ निर्माण विभाग, नगर परिषद वार्ड पार्षदों एवं स्थानीय बुद्धिजीवियों की टीम ने विस्तृत सर्वे किया था. सर्वेक्षण के बाद NH 527C सिंगियाही से बुढ़नद नदी बांध (एस-87), कदम चौक, गाढ़ा हलीम टोला (SH-52), बेलमोहन रेलवे गुमटी (समपार संख्या-37) होते हुए विश्वनाथपुर–बहेड़ा–जाहिदपुर तक लगभग 8.5 किलोमीटर लंबे नए बाईपास मार्ग का डीपीआर तैयार किया गया और जिला पदाधिकारी के माध्यम से पथ निर्माण विभाग को भेजा गया.

पुनः निरीक्षण के बाद मार्च 2025 में वर्तमान जिला पदाधिकारी ने इसे अनुमोदित किया. इसके बाद पथ निर्माण विभाग, सीतामढ़ी के कार्यपालक अभियंता ने करीब 200 करोड़ रुपये की लागत के साथ प्रस्ताव को अंतिम स्वीकृति हेतु सरकार को भेजा. लेकिन दो वर्ष बीत जाने के बाद भी पुपरी को इस महत्वपूर्ण परियोजना का लाभ नहीं मिल पाया है. शहर में बढ़ते यातायात दबाव से जाम की समस्या लगातार गंभीर होती जा रही है. इसका असर आम नागरिकों, विद्यार्थियों, व्यवसायियों से लेकर मरीजों तक पर पड़ रहा है.

अब क्षेत्र की जनता को उम्मीद है कि हाल ही में निर्वाचित सुरसंड विधानसभा क्षेत्र के विधायक और सीतामढ़ी के सांसद इस जनहितकारी परियोजना को आगे बढ़ाने में पहल करेंगे, ताकि पुपरी को जाम की समस्या से स्थायी राहत मिल सके.

इस संबंध में एसडीओ गौरव कुमार ने बताया कि रिंग रोड सह बाईपास निर्माण को लेकर पथ निर्माण विभाग के सहायक अभियंता एवं कनीय अभियंता के साथ बैठक कर आगे की कार्रवाई के निर्देश दे दिए गए हैं. जल्द ही इस पर ठोस निष्कर्ष निकलने की उम्मीद है.

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