पीड़िता ने सुनायी आपबीती, बोलीं- शौहर कहते हैं, अब्बा जवान हैं, ”सहयोग” करो, नहीं तो दे देंगे तलाक

पटना : बिहार राज्य महिला आयोग में बुधवार को पटना सिटी की नौशाबा खातून ने अपने शौहर और ससुर के खिलाफ आवेदन दिया. आयोग की सदस्य प्रतिमा के सामने उन्होंने बताया कि वे पटना सिटी की रहने वाली है और उनका निकाह 2012 में मुजफ्फरपुर के रहने वाले मो जाफर से हुआ था, जो पेशे […]

By Prabhat Khabar Print Desk | January 22, 2020 7:11 PM

पटना : बिहार राज्य महिला आयोग में बुधवार को पटना सिटी की नौशाबा खातून ने अपने शौहर और ससुर के खिलाफ आवेदन दिया. आयोग की सदस्य प्रतिमा के सामने उन्होंने बताया कि वे पटना सिटी की रहने वाली है और उनका निकाह 2012 में मुजफ्फरपुर के रहने वाले मो जाफर से हुआ था, जो पेशे से दरभंगा में फ्रीज के मैकेनिक है. निकाह के बाद नौशाबा अपने पति के साथ दरभंगा में रहने लगी है. सास के इंतकाल के बाद पति उसे ससुराल लेकर गया, जहां वो कुछ दिनों तक रह कर वापस आ गयी है.

खातून के मुताबिक, वापस आने के बाद शौहर के बर्ताव में काफी बदलाव आया. वो हमेशा उसे ससुराल जाकर रहने को कहने लगे मना करने पर मार-पीट करते थे. 2019 में ईद के लिए अपनी ससुराल गयी और पति ने उसे वहीं छोड़ दिया. उस वक्त ससुर कभी देर रात रूम पर आ जाते, बाथरूम में कपड़े धोते वक्त पीछे खड़े रहते थे और अपना जूठा खाना खाने को कहते. खाना छोड़ कर कहतेथे, मेरा जूठा खाओगी तो मुझसे मुहब्बत हो जायेगी. अगर अच्छे से तैयार होती तो कहतेकि आज तुम बेहद खूबसूरत लग रही हो.

पीड़िता ने कहा कि इस मामलेको लेकर शौहर से शिकायत करने पर मुझे खूब मारा-पीटा और कहा कि मेरा अब्बा जवान है उनका सहयोग करो वरना तुमको तलाक दे देंगे. उन्होंने मेरा फोन भी छीन लिया. एक दिन मौका पाकर मैंने ससुर के फोन से घरवालों कोइत्तला किया, जिसके बाद अम्मी आयी. लेकिन, ससुराल वालों ने उन्हें बेइज्जत कर निकाल दिया. किसी तरह से मैं अपने मायके आयी हूं, लेकिन शौहर बार-बार ससुर के साथ रहने का दबाव बना रहे हैं.

खातून ने बताया कि मेरे ससुर का दो निकाह हुआ था और उनकी दोनों पत्नियां अल्लाह को प्यारी हो गयी. मैंने कहा कि मेरा निकाह आपके साथ हुआ हैऔर आप अपने अब्बा का तीसरा निकाह करवा दो, लेकिन उन्होंने मुझे तलाक देने की धमकी दीऔर कहा, अब्बा को खुश रखना तुम्हारा फर्ज है. आपसे निवेदन है कि मेरे साथ न्याय करें. मेरे पति को मेरे साथ रहने और बच्चों का ख्याल रखने के लिए कहें. ससुराल में ससुर के साथ नहीं रहना है. आयोग की ओर से वरीय पुलिस अधीक्षक को चिट्ठी लिखी जायेगी और दोनों पक्षों को 18 मार्च को आयोग आना होगा.

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