Bihar: अनुसंधान इकाई के अफसरों से ली जा रही लॉ एंड ऑर्डर ड्यूटी,भागलपुर SSP ने थानाध्यक्षों को दी चेतावनी

Bhagalpur news: अनुसंधान और विधि व्यवस्था इकाई में प्रतिनियुक्त अफसराें से उनके इकाई अनुसार लिया जायेगा कार्य. इसको लेकर एसएसपी ने थानाध्यक्षों को पत्र लिखकर निर्देश दिए है.

By Prabhat Khabar | September 23, 2022 6:05 AM

भागलपुर: विगत वर्ष 2019 में बिहार पुलिस के तत्कालीन डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय ने प्रभावी पुलिसिंग और कांडों के बेहतर निष्पादन को लेकर राज्य के सभी थानों में अनुसंधान और विधि व्यवस्था इकाई का गठन किया था. अनुसंधान इकाई में अनुसंधान में काबिल अफसरों की प्रतिनियुक्ति करने और बचे हुए अफसरों को थाना की विधि व्यवस्था ड्यूटी लगाने के लिये निर्देशित किया गया था.

उक्त निर्देश पारित किये जाने के बाद कुछ महीनों तक इसका अनुपालन किया गया पर धीरे-धीरे कर पुलिस पदाधिकारियों के अभाव में राज्य के लगभग सभी थानों में निर्देशों की धड़ल्ले से अनदेखी भी की जाने लगी. भागलपुर पुलिस जिला के लगभग सभी थानों में भी इस तरह की शिकायतें मिलने के बाद भागलपुर एसएसपी ने इसे गंभीरता से लिया है और उक्त निर्देशों को लेकर सख्त दिशा निर्देश दिये हैं.

एसएसपी ने पत्र लिखकर दिए निर्देश

एसएसपी बाबू राम ने इस बाबत पत्र जारी कर सभी थानाध्यक्षों को दिये गये निर्देशों का सख्ती से अनुपालन करने का निर्देश दिया है. इस बाबत एसएसपी ने बतौर भागलपुर एसएसपी पदस्थापित होते ही सबसे पहले 6 जनवरी 2022, जिसके बाद 20 जनवरी 2022 को और फिर 3 अगस्त 2022 को सभी थानाध्यक्ष व ओपी प्रभारियों को पत्र लिख कर पुलिस मुख्यालय के आदेशों के अनुपालन करने का निर्देश दिया था. इसके बावजूद कई थानों से शिकायत मिली कि अनुसंधान इकाई के पुलिस पदाधिकारियों से विधि व्यवस्था ड्यूटी यानी गश्ती और थानों की ओडी ड्यूटी ली जाती है.

थानाध्यक्षों को एसएसपी ने दी चेतावनी

एसएसपी ने फिर से थानाध्यक्षों और ओपी प्रभारियों को इस बाबत चेतावनी दी है. उन्होंने निर्देश देते हुए कहा है कि विशेष परिस्थितियों को छोड़ कर किसी भी हाल में अनुसंधान इकाई में प्रतिनियुक्त पुलिस पदाधिकारियों से विधि व्यवस्था ड्यूटी में कार्य न लिया जाये. उक्त निर्देश का उल्लंघन पाये जाने पर संबंधित थानाध्यक्ष या ओपी प्रभारियों के विरुद्ध अनुशासनिक कार्रवाई की जायेगी.

फाइनल फॉर्म कटवाना सुनिश्चित कराएं थानाध्यक्ष

उक्त निर्देशों के अलावा एसएसपी ने सभी थानाध्यक्षों और ओपी प्रभारियों को निर्देशित किया है कि थानाध्यक्ष हर दिन लंबित कांडों की समीक्षा करेंगे और अनुसंधान इकाई में प्रतिनियुक्त पदाधिकारियों से केस डायरी लिखवाना और फाइनल फॉर्म कटवाना भी सुनिश्चित करेंगे. साथ ही कांडों की समीक्षा के दौरान फरार पाये गये अभियुक्तों की गिरफ्तारी करना और कराना भी थानाध्यक्ष की ही जिम्मेदारी होगी.

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