छात्र की मौत के खिलाफ विद्यालय में की तालाबंदी, छात्रों का परीक्षा हुई बाधित
विद्यालय परिसर में अर्धनिर्मित शौचालय की टंकी में गिरकर बच्चे की मौत से आक्रोशित ग्रामीणों ने मुआवजे की मांग को लेकर विद्यालय में तालाबंदी कर वार्षिक परीक्षा को पूर्ण रूप से बाधित कर दिया.
बछवाड़ा.
विद्यालय परिसर में अर्धनिर्मित शौचालय की टंकी में गिरकर बच्चे की मौत से आक्रोशित ग्रामीणों ने मुआवजे की मांग को लेकर विद्यालय में तालाबंदी कर वार्षिक परीक्षा को पूर्ण रूप से बाधित कर दिया. जिस कारण परीक्षा देने पहुंचे 425 छात्रों को बिना परीक्षा दिये ही बैरंग वापस लौटना पड़ा. बताते चलें कि चमथा तीन पंचायत के उत्क्रमित मध्य विद्यालय चिड़ैयाटोक परिसर में बने शौचालय की टंकी में गिरकर विगत दिनों चमथा तीन पंचायत निवासी अजय कुमार का आठ वर्षीय पुत्र धर्मवीर कुमार की मौत हो गयी. मौत के उपरांत सोमवार को विद्यालय खुलने से पूर्व ही आक्रोशित ग्रामीण व परिजन विद्यालय परिसर पहुंचकर मुआवजे की मांग को लेकर विद्यालय के शिक्षकों को बंधक बनाते हुए विद्यालय में तालाबंदी कर दिया. वहीं ग्रामीणों की मांग थी कि आपदा से मिलने वाली राशि के अलावा विद्यालय परिवार की ओर से पीड़ित परिवार को चार लाख नगद व माता या पिता को नौकरी दिया जाये. जब तक विद्यालय परिवार की ओर से चार लाख रूपया नगद व पीड़ित परिवार के एक सदस्य को नौकरी नहीं दिया जाता है तब तक विद्यालय में तालाबंदी रहेगा. वहीं स्थानीय ग्रामीणों का कहना है कि विद्यालय के प्रधानाध्यापक पिंकी कुमारी एक भी छात्र छात्रा को पूर्व से निर्मित शौचालय का उपयोग करने नहीं देती है और न ही विद्यालय में शुद्ध पानी के लिए लगा आरओ का उपयोग करने दिया जाता है. जिस कारण शौच के लिए बच्चों को खेत में जाना पड़ता है. उन्होंने बताया कि विगत दो वर्ष पूर्व शौचालय टंकी का निर्माण किया गया. जिसके बाद प्रधानाध्यापक से बार बार ग्रामीणों के द्वारा शौचालय टंकी पर ढ़क्कन चढ़ाने की बात कहां गया लेकिन प्रधानाध्यापक एक न सुनी. विद्यालय में तालाबंदी की खबर मिलते ही करीब बारह बजे प्रखंड शिक्षा विभाग के बीपीएम अजय कुमार, लेखापाल विपिन कुमार, बीआरपी नवीन कुमार सिंह, शिक्षक रंजीत प्रसाद यादव, दिनेश कुमार विद्यालय परिसर पहुंचकर आक्रोशित ग्रामीणों से बात करना चाहें, लेकिन ग्रामीण किसी की बात सुनने को तैयार नहीं हुए और अपनी मांग पर अड़े रहे. करीब दो घंटे के बाद दो बजे बिना किसी समझौता के पदाधिकारी व शिक्षक वापस लौट गये. विद्यालय में परीक्षा को लेकर वर्ग तीन से वर्ग आठ व वर्ग ग्यारहवीं के कुल 425 छात्र परीक्षा देने पहुंचे लेकिन आक्रोशित ग्रामीणों ने विद्यालय के शिक्षकों को बंधक बनाते हुए विद्यालय में तालाबंदी कर दिए जाने के कारण छात्रों को परीक्षा दिए बिना ही अपने घर वापस लौटना पड़ा. छात्रों का कहना था कि हमलोगों का वार्षिक परीक्षा चल रहा है, लेकिन विद्यालय में तालाबंदी है ऐसे में परीक्षा नहीं होने से हिन्दी विषय का परीक्षा छूट गया. ग्रामीणों व पदाधिकारी समेत शिक्षकों के बीच समझौता के बाद मुखिया प्रतिनिधि शिबू राउत ने बताया कि विद्यालय के प्रधानाध्यापक के द्वारा ढ़ाई लाख रूपये का चेक पीड़ित परिवार को दिया गया. साथ ही ग्रामीणों को अश्वासन दिया गया कि विद्यालय शिक्षा समिति की बैठक के उपरांत पीड़ित परिवार के एक सदस्य को विद्यालय में रसोइया के स्थान पर बहाल किया जायेगा. वहीं विद्यालय में तालाबंदी की सूचना पर पहुंचे प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी निर्मला कुमारी व विद्यालय के प्रधानाध्यापक पिंकी कुमारी समेत अन्य शिक्षक विद्यालय परिसर पहुंचकर आक्रोशित ग्रामीणों व पीड़ित परिवार से बात की. वहीं प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी ने बताया कि विद्यालय के पोषक क्षेत्र के आक्रोशित ग्रामीण व पीड़ित परिवार से समझौता हो चुका है. सभी शिक्षक को मुक्त करा लिया गया है. कल से छात्रों को नियमित परीक्षा लिया जायेगा. उन्होंने बताया कि परिक्षा से वंचित 425 छात्र की परीक्षा के लिए वरीय पदाधिकारी के निर्देशानुसार आगे परीक्षा लिया जायेगा.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है
