ट्रैफिक व्यवस्था दुरुस्त नहीं, रोज लगता है जाम

बीहट : राजेंद्र पुल से लेकर जीरोमाइल एनएच-31 तथा एनएच-28 पर बगराडीह तक छोटे-बड़े वाहनों की लंबी कतार जाम से महाजाम की कथा कह रही थी. घंटों बाद भी जाम में फंसी गाड़ियां जस की तस लगी पड़ी थी.जाम में फंसे वाहन के अंदर बैठे लोग तेज धूप और ऊमस भरी गर्मी से हलकान होते […]

By Prabhat Khabar Print Desk | June 11, 2018 6:12 AM

बीहट : राजेंद्र पुल से लेकर जीरोमाइल एनएच-31 तथा एनएच-28 पर बगराडीह तक छोटे-बड़े वाहनों की लंबी कतार जाम से महाजाम की कथा कह रही थी. घंटों बाद भी जाम में फंसी गाड़ियां जस की तस लगी पड़ी थी.जाम में फंसे वाहन के अंदर बैठे लोग तेज धूप और ऊमस भरी गर्मी से हलकान होते रहे. पानी की तलाश में लोग भटकते रहे. खास कर बच्चों और महिलाओं को काफी परेशानी झेलनी पड़ रही है. वाहन चालकों ने बताया कि जीरोमाइल से राजेंद्र पुल पार करने में अमूनन दो से तीन घंटे लग रहे हैं. इस दौरान वाहन रेंगते रहे.

वाहन चालकों की मनमानी से लोग होते रहे हलकान:वाहन चालकों की मनमानी से लगे जाम के कारण विगत दो दिनों से राजेंद्र पुल से लेकर जीरोमाइल तक एनएच-31 और एनएच-28 पर तेघड़ा तक लोग परेशान रहे.मोटरसाइकिल सवारों की कौन कहे, पैदल चलने वाले लोग भी घंटों जाम में फंसे रहे. खास करके राजेंद्र पुल पर बीच में फंसे वाहन पर बैठे लोगों के समक्ष विचित्र परिस्थिति पैदा हो जाती है. उन्हें न खाना मिल पाता है और न पानी. इतना ही नहीं एक तरफ जाम में फंसे एंबुलेंस के अंदर मरीज के साथ परजिनों की सांस अटकी रहती है तो ट्रेन पकड़ने जा रहे लोगों की छटपटाहट समझने के लिये कोई तैयार नहीं है.सबको सबसे पहले जाने की पड़ी है.
ऐसे में ट्रैफिक नियमों को तोड़ते हुए सड़क पर दो से तीन लाइनें लग जाती है और फिर सामने से आने वाले वाहन के लिए रास्ता ही नहीं बचता है, नतीजा सड़क जाम. जिला प्रशासन द्वारा कुछ डंडाधारी सिपाहियों को ट्रैफिक नियंत्रण के लिये लगाया गया है, लेकिन यह नाकाफी साबित हो रहा है.
महात्मा गांधी सेतु बंद रहने से ट्रैफिक की समस्या बढ़ी :महात्मा गांधी सेतु पटना के बंद रहने से राजेंद्र पुल पर वाहनों का दबाव बढ़ा है. इसके कारण जाम की समस्या उत्पन्न हो रही है.
एनएच -31 से गुजरने वाले वाहनों की संख्या इतनी है कि अगर दो-चार मिनट भी आगे-पीछे चलने वाली गाड़ी सड़क पर रुक जाये तो देखते ही देखते उसके पीछे वाहनों की लंबी कतारें लग जाती है. अगर एक बार जाम लग गया तो कब टूटेगा, कहना मुश्किल है.

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