लूटपाट की नीयत से ट्रैक पर गिराया पेड़,बाल-बाल बची राजधानी एक्सप्रेस

औरंगाबाद (कोर्ट) : गया-मुगलसराय रेलखंड पर अनुग्रह नारायण रेलवे स्टेशन के समीप शंकरपुर रेलवे गुमटी के पास शनिवार की देर रात हावड़ा से नयी दिल्ली जानेवाली राजधानी एक्सप्रेस अपराधियों का निशाना बनने से बच गयी. अपराधियों ने लूटपाट की नीयत से शीशम का पेड़ काट कर रेलवे ट्रैक पर गिरा दिया था. लेकिन, पायलट की […]

By Prabhat Khabar Print Desk | June 15, 2015 7:10 AM
औरंगाबाद (कोर्ट) : गया-मुगलसराय रेलखंड पर अनुग्रह नारायण रेलवे स्टेशन के समीप शंकरपुर रेलवे गुमटी के पास शनिवार की देर रात हावड़ा से नयी दिल्ली जानेवाली राजधानी एक्सप्रेस अपराधियों का निशाना बनने से बच गयी.
अपराधियों ने लूटपाट की नीयत से शीशम का पेड़ काट कर रेलवे ट्रैक पर गिरा दिया था. लेकिन, पायलट की सूझबूझ से बड़ा खतरा टल गया. जानकारी के अनुसार, शंकरपुर रेलवे गुमटी के पास अपराधियों ने राजधानी एक्सप्रेस को रोकने के लिए शीशम का पेड़ काट कर ट्रैक पर गिरा दिया था. अपलाइन में आ रही हावड़ा-नयी दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस के पायलट ने ट्रैक पर गिरा पेड़ देख लिया और उसने इमरजेंसी ब्रेक लगा कर ट्रेन रोक दी. इसके बाद सोननगर रेलवे पुलिस को सूचना दी. रेल पुलिस ने औरंगाबाद पुलिस अधीक्षक (एसपी) बाबूराम को जानकारी दी.
एसपी तुरंत एक टीम के साथ शंकरपुर रेलवे गुमटी के पास पहुंचे और ट्रैक पर गिरे पेड़ को हटवाया. पुलिस अधीक्षक ने बताया कि पता चला है कि 10 से 15 की संख्या में रहे लोगों ने पेड़ काट कर ट्रैक पर गिराया था. पुलिस उन लोगों की पहचान करने में जुट गयी है. इधर, अनुग्रह नारायण स्टेशन प्रबंधक मुन्ना रजक ने बताया कि हावड़ा से नयी दिल्ली जानेवाली राजधानी एक्सप्रेस को रोकने की मंशा थी, लेकिन पायलट की तत्परता व पुलिस की मदद से हादसा टल गया.
2002 में भी राजधानी को बनाया गया था निशाना. गौरतलब है कि औरंगाबाद के रफीगंज में 10 सितंबर, 2002 की रात हावड़ा-नयी दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस दुर्घटनाग्रस्त हो गयी थी. इसमें 130 से ज्यादा लोगों की मौत हो गयी थी व करीब डेढ़ सौ यात्री घायल व कई लापता हो गये थे. अपराधियों ने लूटपाट की नीयत से रफीगंज के पास धावा नदी पर बने रेल पुल पर फिश प्लेट खोल दी थी.
इससे हावड़ा-नयी दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस धावा नदी में गिर गयी थी. इस संबंध में पुलिस ने मामला दर्ज कर कई लोगों को गिरफ्तार भी किया था और अब भी इसकी जांच चल रही है.

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