ऐसे सुधरेगी शिक्षा व्यवस्था

अपने राज्य झारखंड की हालत में कोई परिवर्तन विशेषकर शिक्षा व्यवस्था में दिखाई नहीं देता है. सरकारी स्तर कई बार चर्चा हुई कि शिक्षकों का पदस्थापना उनके गृह जिले में ही कराया जाये, लेकिन ये सिर्फ घोषणाएं ही रहीं. अभी हालिया दिनों में 10+2 में जिन शिक्षकों की नियुक्ति हुई है, उन्हें भी अपने गृह […]

By Prabhat Khabar Print Desk | November 24, 2017 5:20 AM

अपने राज्य झारखंड की हालत में कोई परिवर्तन विशेषकर शिक्षा व्यवस्था में दिखाई नहीं देता है. सरकारी स्तर कई बार चर्चा हुई कि शिक्षकों का पदस्थापना उनके गृह जिले में ही कराया जाये, लेकिन ये सिर्फ घोषणाएं ही रहीं.

अभी हालिया दिनों में 10+2 में जिन शिक्षकों की नियुक्ति हुई है, उन्हें भी अपने गृह जिले में पदस्थापना न देकर, दूसरे जिले में पदस्थापित किया गया है. इसमें महिलाएं भी शामिल हैं. विवाहित महिलाओं के लिए अपने पूरे घर परिवार को छोड़ कर दूसरे जिले में नौकरी करना मुश्किल हो रहा है. परिणामस्वरूप कई महिलाएं चाह कर भी स्कूल ज्वाइन करने में असमर्थ हैं.

सरकार को इस तरह की अनियमितताओं से स्वयं और विभागों को भी पाक साफ करना होगा. अगर शिक्षक मानसिक रूप से तनाव रहित होंगे, तभी वे अपने कर्तव्यों का निर्वहन भी ईमानदारी से कर सकेंगे और राज्य का विकास होगा. अन्यथा तमाम कोशिशें खाली जायेंगी. इस पर सरकार को विचार करना ही होगा.

गुलाम अरीब, इमेल से

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