इरोम शर्मिला रिहाई के एक दिन बाद फिर से गिरफ्तार

इंफाल : जेल से रिहा किए जाने के एक दिन बाद मानवाधिकार कार्यकर्ता इरोम चानू शर्मिला को पुलिस ने आज एक बार फिर गिरफ्तार कर लिया. बेमियादी अनशन करने के कारण शर्मिला को एक बार फिर खुदकुशी की कोशिश के आरोप में गिरफ्तार किया गया. इंफाल पश्चिम के पुलिस अधीक्षक झलजीत ने बताया कि खुदकुशी […]

By Prabhat Khabar Print Desk | January 23, 2015 11:29 PM

इंफाल : जेल से रिहा किए जाने के एक दिन बाद मानवाधिकार कार्यकर्ता इरोम चानू शर्मिला को पुलिस ने आज एक बार फिर गिरफ्तार कर लिया. बेमियादी अनशन करने के कारण शर्मिला को एक बार फिर खुदकुशी की कोशिश के आरोप में गिरफ्तार किया गया.

इंफाल पश्चिम के पुलिस अधीक्षक झलजीत ने बताया कि खुदकुशी की कोशिश के आरोप में शर्मिला को आईपीसी की धारा 309 के तहत गिरफ्तार किया गया है. उन्होंने कहा, उन्हें उसी अपराध के लिए गिरफ्तार किया गया है लेकिन यह एक अलग मामला है. पिछले मामले में उन्हें अदालत ने रिहा कर दिया था और हमने उन्हें नए मामले में गिरफ्तार किया है.

इंफाल पूर्व जिले के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने कल 42 साल की शर्मिला के खिलाफ लगे खुदकुशी की कोशिश के आरोप को खारिज कर दिया था. शर्मिला पिछले 14 साल से बेमियादी अनशन पर हैं. उनकी मांग रही है कि सशस्त्र बल विशेषाधिकार कानून (अफ्सपा) को हटाया जाए. शर्मिला को जवाहरलाल नेहरु अस्पताल के एक विशेष वार्ड में रखा गया है जो उनके लिए जेल का काम करता है. जीवित रखने के लिए उन्हें नाक के जरिए तरल पदार्थ का सेवन जबरन कराया जाता है.

कल शाम रिहा होने के बाद शर्मिला इंफाल बाजार परिसर में ही रात भर अनशन पर बैठी रही. अधिकारियों ने बताया कि सरकारी अस्पताल के डॉक्टरों की एक टीम ने उनकी सेहत की जांच की थी. पुलिस ने शर्मिला को अस्पताल जाने के लिए कहा पर उन्होंने मना कर दिया. अफ्सपा हटाने की मांग करते हुए शर्मिला ने नवंबर 2000 से ही कुछ भी खाने-पीने से इनकार कर दिया था.

बीते साल 19 अगस्त को मणिपुर की एक अन्य अदालत ने शर्मिला को रिहा करने का आदेश दिया था. अदालत ने कहा था कि उनकी भूख हडताल कानूनी तौर-तरीकों के जरिए एक राजनीतिक मांग है. बहरहाल, शर्मिला को खुदकुशी की कोशिश के आरोप में इसी तरह तीन दिन बाद फिर गिरफ्तार कर लिया गया था. पिछले महीने केंद्र सरकार ने कहा था कि उन्होंने आईपीसी की धारा 309 खत्म करने का फैसला किया है. इस धारा के तहत खुदकुशी की कोशिश के जुर्म में एक साल तक की जेल की सजा हो सकती है.

Next Article

Exit mobile version