Common Man Issue Inflation: जून में थोक महंगाई घटी, लेकिन आम लोगों को नहीं मिली राहत

Common Man Issue Inflation: थोक मुद्रास्फीति (Wholesale Inflation) अप्रैल, 2021 से लगातार 15वें माह 10 प्रतिशत से ऊंची बनी हुई है. पिछले महीने थोक मुद्रास्फीति 15.88 के रिकॉर्ड उच्च स्तर पर थी. वहीं, जून, 2021 में यह 12.07 प्रतिशत थी.

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 14, 2022 10:21 PM

Common Man Issue Inflation: खनिजों की कीमतों में तेज गिरावट के कारण जून, 2022 में थोक मूल्य सूचकांक (Wholesale Price Index- WPI) आधारित मुद्रास्फीति घटकर तीन महीने के निम्न स्तर 15.18 प्रतिशत पर आ गयी. हालांकि, खाद्य वस्तुओं के दामों में तेजी बनी हुई है.

15 महीने से 10 फीसदी से ऊंची है थोक मुद्रास्फीति

थोक मुद्रास्फीति (Wholesale Inflation) अप्रैल, 2021 से लगातार 15वें माह 10 प्रतिशत से ऊंची बनी हुई है. पिछले महीने थोक मुद्रास्फीति 15.88 के रिकॉर्ड उच्च स्तर पर थी. वहीं, जून, 2021 में यह 12.07 प्रतिशत थी. आंकड़ों के अनुसार, जून, 2022 में खाद्य वस्तुओं की मुद्रास्फीति 14.39 प्रतिशत रही. मई में यह 12.34 प्रतिशत थी.

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फल, सब्जियों और आलू के दाम में तेजी से हुई बढ़ोतरी

डब्ल्यूपीआई बढ़ने की वजह फल, सब्जियों और आलू के दाम में तेजी से हुई बढ़ोतरी है. इसी तरह समीक्षाधीन महीने में सब्जियों की मूल्य वृद्धि 56.75 प्रतिशत पर पहुंच गयी. आलू के दाम माह के दौरान 39.38 प्रतिशत और फलों के 20.33 प्रतिशत बढ़े.

कच्चे पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस की महंगाई 77.29 फीसदी

ईंधन और ऊर्जा खंड में मुद्रास्फीति 40.38 प्रतिशत, विनिर्मित वस्तुओं और तिलहन की मुद्रास्फीति 9.19 फीसदी और कच्चे पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस की महंगाई 77.29 फीसदी रही. इक्रा की मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नायर ने कहा कि जून में खनिज और मूल धातु के दाम में मासिक आधार पर तीव्र सुधार हुआ है. इसका कारण वैश्विक स्तर पर मंदी की आशंका बढ़ना और जिंसों के दाम में नरमी है.

जुलाई 2022 में थोक मुद्रास्फीति 13 फीसदी रहने की उम्मीद

अदिति नायर ने कहा, ‘हमें उम्मीद है कि जुलाई 2022 में थोक मुद्रास्फीति कम होकर 13 फीसदी तक आ जायेगी. यह वैश्विक स्तर पर जिंसों और ईंधन की कीमतों तथा घरेलू स्तर पर खाद्य वस्तुओं के दामों में कमी से प्रतिबिंबित होता है.’

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