इसलामाबाद : पाकिस्तान के गृह मंत्री चौधरी निसार अली खान ने शनिवार को कहा कि कुलभूषण जाधव के मामले को पाकिस्तान के कानून के मुताबिक तार्किक परिणति तक पहुंचाया जायेगा. फ्रांटियर कॉर्प की पासिंग आउट परेड के मौके पर खान ने कहा कि कुछ तत्व पाकिस्तान में अराजकता और अशांति पैदा करने के लिए ‘हमारे दुश्मनों’ से पैसे ले रहे हैं. वहीं, पाकिस्तान के प्रधान मंत्री नवाज शरीफ के विदेश मामलों के सलाहकार सरताज अजीज ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय न्यायालय (आइसीजे) ने कुलभूषण जाधव के लिए राजनयिक मदद के बारे में कोई आदेश नहीं दिया है, जिसे पाकिस्तान के कानूनों के अनुसार मौत की सजा सुनायी गयी है. उन्होंने कहा, आईसीजे ने केवल पाकिस्तान को जाधव के फैसले पर रोक लगाने के लिए कहा है, जब तक कि कोई फैसला नहीं मिल जाता. यहां एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए, अजीज ने कहा कि आईसीजे ने राजनयिक मदद पर फैसला नहीं किया है और केवल यह सूचित किया है कि मामले पर चर्चा होगी.
पाकिस्तान के गृह मंत्री ने कहा कि ‘जाधव एक भारतीय जासूस है जो पाकिस्तान के खिलाफ घृणित अपराधों में शामिल था और देश के कानून के तहत उसे दोषी ठहराया गया.’ उन्होंने कहा, ‘देश के कानून और संविधान के अनुसार जाधव के मामले को तार्किक निष्कर्ष तक पहुंचाया जायेगा.’ उनका यह बयान उस वक्त आया है जब अंतरराष्ट्रीय न्यायालय ने जाधव की मौत की सजा पर रोक लगा दी है और राजनयिक मदद के लिए भारतीय आग्रह का समर्थन किया है. उन्होंने दावा किया कि जाधव की गिरफ्तारी से और आतंकी गतिविधियां रुक गयीं जिनकी योजना उसके नेटवर्क ने बनायी थी.
आईसीजे ने जाधव के लिए राजनयिक मदद पर कोई आदेश नहीं दिया : अजीज
सरताज अजीज ने दावा किया कि जाधव एक साधारण भारतीय नहीं हैं, वह भारतीय नौसेना के एक अधिकारी थे, जिन्होंने पाकिस्तान में जासूसी गतिविधियों को स्वीकार कर लिया है. जाधव को पाकिस्तान के कानूनों के अनुसार सजा सुनायी गयी थी, जब उसने फर्जी पासपोर्ट पर देश में प्रवेश करने और आतंक की गतिविधियों में शामिल होने की बात स्वीकार की थी. पाकिस्तान की कानूनी टीम के बारे में सवालों के जवाब में, अजीज ने कहा कि उनके पास उपस्थिति की तैयारी के लिए केवल पांच दिन थे. खवार कुरैशी को भेजने का निर्णय सर्वसम्मत था. हालांकि, उन्होंने कहा कि पाकिस्तान अपनी कानूनी टीम को और मजबूत करेगा और पूरी तैयारी से मामले में आगे बढ़ेगा. हम अगली सुनवाई में एक मजबूत टीम के साथ जायेंगे. उन्होंने कहा कि सुरक्षा बलों ने पिछले सालतीन मार्च को अपने निर्विवाद बलूचिस्तान प्रांत से जाधव को ईरान से प्रवेश करने के बाद गिरफ्तार किया था. हालांकि, भारत का कहना है कि उन्हें भारतीय नौसेना से रिटायर होने के बाद ईरान से अपहरण कर लिया गया था.
अटॉर्नी जनरल अश्तर आैसफ आईसीजे में करेंगे पाकिस्तान का प्रतिनिधित्व
इस बीच पाकिस्तान ने कहा, पाकिस्तान के अटॉर्नी जनरल अश्तर औसफ अली कुलभूषण जाधव के खिलाफ अंतररराष्ट्रीय न्यायालय में पाकिस्तान के मामले की पैरवी करेंगे. यह घटनाक्रम ऐसे समय में हुआ जब पाकिस्तान के विदेश कार्यालय की मामले से सही तरीके से नहीं निपटने और ब्रिटेन में रहनेवाले खवार कुरैशी को अपना वकील रखने को लेकर आलोचना होने के बाद हुआ है. अटॉर्नी जनरल ने कहा कि आईसीजे के समक्ष भारत के मामले के खिलाफ देश के बचाव को सरकार ने सैन्य प्रतिष्ठान समेत सभी हितधारकों के साथ विचार-विमर्श करने के बाद तैयार किया था.
उन्होंने इस आलोचना को भी खारिज कर दिया कि क्यों पाकिस्तान ने वैश्विक अदालत के अधिकार क्षेत्र को स्वीकार किया. आईसीजे के अधिकार क्षेत्र के संबंध में पाकिस्तान की मार्च 2017 की घोषणा का उल्लेख करते हुए औसफ ने कहा कि इस मुद्दे पर चल रहा दुष्प्रचार गलत है. कहा कि सही स्थिति है कि पाकिस्तान ने काफी पहले सितंबर 1960 में ही आईसीजे के क्षेत्राधिकार को स्वीकार करने पर सहमति जताते हुए बिना शर्त घोषणा पर हस्ताक्षर किया था. मार्च 2017 में हमने घोषणा के अपवाद, आपत्तियों और शर्तों को घोषित किया. उन्होंने कहा कि 1960 की मूल घोषणा बिना आपत्तियों और अपवादों के थी. पाकिस्तान ने मार्च 2017 से पहले स्वत: आईसीजे के अनिवार्य अधिकार क्षेत्र पर हस्ताक्षर किया था. जाधव का मामला पाकिस्तान और भारत के बीच तनाव में नवीनतम रोशनी की स्थिति है.