रांची: रंजीत सिंह कोहली उर्फ रकीबुल हसन और तारा शाहदेव प्रकरण की सीबीआइ जांच अब तक शुरू नहीं हुई है. इस मामले से सीबीआइ मुख्यालय अब भी अनजान है. जांच को लेकर गृह मंत्रलय की ओर से सीबीआइ मुख्यालय को कोई दिशा-निर्देश नहीं दिया गया है और न ही राज्य सरकार को कोई जानकारी दी गयी है. हालांकि बीच में खबर आयी थी कि गृह मंत्रलय ने मामले की सीबीआइ जांच की अनुशंसा मंजूर कर ली है.
पर सीबीआइ के प्रवक्ता कंचन प्रसाद का कहना है कि सीबीआइ के पास कोई पत्र या निर्देश नहीं आया है. मुख्यमंत्री के निर्देश पर गृह विभाग ने 30 अगस्त को मामले की जांच सीबीआइ की अनुशंसा गृह मंत्रलय से की थी.
कई बड़े लोगों के नाम सामने आये हैं
तारा शाहदेव के साथ शादी के बाद प्रताड़ित करने और धर्म बदलने का दबाव देने के आरोप में गिरफ्तार रंजीत ने कई बड़े लोगों से संपर्क रखने की बात स्वीकार की है. उसने पुलिस को बताया है कि दो मंत्रियों, न्यायिक अफसरों, आइएएस, आइएफएस और कई बड़े पुलिस अधिकारियों से उसके संपर्क हैं. वह कोर्ट में चल रहे मामलों की पैरवी भी करता था. उच्च पदों पर बैठे लोगों को मिला कर ठेका मैनेज भी करता था. पूछताछ में पुलिस को पता चला कि इसमें कई मामले जुड़े हुए हैं. इन खुलासे के बाद सरकार ने पूरे मामले की जांच सीबीआइ से कराने का फैसला लिया था. इस फैसले की एक वजह यह भी थी कि तारा शाहदेव को स्थानीय पुलिस की जांच पर शक है.
क्या है जांच की प्रक्रिया
किसी भी मामले की सीबीआइ जांच के लिए राज्य सरकार केंद्रीय गृह मंत्रलय को सिफारिश करती है. गृह मंत्रलय जांच के बाद मामले की फाइल कार्मिक को भेजता है. वहां फिर से जांच होने के बाद इसकी सिफारिश सीबीआइ के पास भेजी जाती है. सीबीआइ की जांच दो ही मामलों में होती है, अदालती हस्तक्षेप या फिर राज्य सरकार के आग्रह पर.
घटनाक्रम
19 अगस्त : रात में तारा के भाई ने पुलिस की मदद से ब्लेयर अपार्टमेंट स्थित रंजीत के फ्लैट से तारा को मुक्त कराया. तारा को अस्पताल में भरती कराया गया
21 अगस्त : रंजीत अपनी मां कौशल रानी व नौकरानी के साथ फरार
25 अगस्त : हिंदू संगठनों ने रांची बंद किया. पुलिस ने रंजीत और उसकी मां के खिलाफ अदालत से वारंट हासिल किया
26 अगस्त : रांची पुलिस ने दिल्ली पुलिस की मदद से रंजीत और उसकी मां को गिरफ्तार किया.
27 अगस्त : रंजीत कोहली ने दो मंत्रियों, न्यायिक अफसरों, आइएएस, आइएफएस से अपने संपर्क रखने की बात कबूल की
29 अगस्त : मुख्यमंत्री ने तारा से मुलाकात के बाद सीबीआइ जांच की घोषणा की
30 अगस्त : गृह विभाग ने अनुशंसा केंद्रीय गृह मंत्रलय को भेजी.
23 सितंबर : तारा शाहदेव ने रांची एयरपोर्ट पर गृह मंत्री राजनाथ सिंह से मिल कर सीबीआइ जांच का आग्रह किया था
कोई पत्र या निर्देश नहीं मिला : सीबीआइ
सीबीआइ के प्रवक्ता कंचन प्रसाद ने बताया कि सीबीआइ जांच के लिए कोई पत्र या निर्देश नहीं आया है. यह पूछे जाने पर कि मुख्यमंत्री कह रहे हैं कि सीबीआइ जांच की सिफारिश कर दी गयी है, उन्होंने कहा : हो सकता है कि वह जो कह रहे हैं, सच हो. लेकिन अब तक सीबीआइ के पास जांच के लिए किसी तरह की सिफारिश नहीं आयी है.