भारतीय भाषाओं में सिविल सेवा परीक्षा देने वाले प्रतियोगी सिविल सर्विसेज़ एप्टीट्यूड टेस्ट यानी सी-सेट में अँग्रेज़ी माध्यम वालों को प्राथमिकता दिए जाने का आरोप लगा रहे हैं.
कितना दम है उनके इस आरोप में और क्या ऊँचा अफ़सर बनने के लिए अँग्रेज़ी आना ज़रूरी है?
दूसरी ओर जिस तरह इस मुद्दे को हिंदी की अस्मिता से जोड़ा जा रहा है क्या वो उचित है?
इस मुद्दे पर दिल्ली में लगातार आंदोलन चल रहा है और संसद में भी इसकी गूँज सुनाई दी है. लेकिन अगर नहीं सुनाई दी तो आपकी आवाज़.
इस शनिवार बीबीसी हिंदी रेडियो के कार्यक्रम इंडिया बोल में इसी विषय पर हुई बहस.