ओलिंपिक में 20 साल बाद उतरेगा भारत का कोई घुड़सवार, फवाद मिर्जा Tokyo Olympics में दिखायेंगे जौहर

Tokyo Olympics 2020, Fouaad Mirza : तोक्यो की तैयारी के दौरान फवाद उत्तर-पश्चिम जर्मनी के बर्गडॉर्फ में ट्रेनिंग कर रहे हैं. जर्मन घुड़सवारी दिग्गज सैंड्रा औफार्थ फवाद को ट्रेनिंग दे रहे हैं.

By Prabhat Khabar | July 14, 2021 9:35 AM

Tokyo Olympics 2020 : भारत के घुड़सवार फवाद मिर्जा ने तोक्यो ओलिंपिक खेलों में जौहर दिखायेंगे. फवाद मिर्जा पहली बार ओलिंपिक खेलों में भाग लेंगे. फवाद 20 साल बाद ओलिंपिक टिकट हासिल करनेवाले भारतीय घुड़सवार हैं. वह 1996 अटलांटा ओलिंपिक में इंद्रजीत लांबा और 2000 सिडनी ओलिंपिक में इम्तियाज अनीस के बाद ओिलंपिक में हिस्सा लेनेवाले तीसरे भारतीय व्यक्तिगत घुड़सवार हैं. फवाद दो बार के एशियन मेडलिस्ट रह चुके हैं. फवाद सबसे पहले 2018 में चर्चा में आये थे. इसी साल वह 1982 के बाद एशियन गेम्स में इंडिविजुअल मेडल जीतनेवाले पहले भारतीय बने थे. जकार्ता में हुए एशियन गेम्स में उन्होंने सिल्वर मेडल जीता था. व्यक्तिगत मेडल के साथ ही उन्होंने यहां टीम मेडल भी अपने नाम किया था.

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विरासत में मिली घुड़सवारी

घुड़सवारी बेंगलुरु में जन्में मिर्जा को विरासत में मिली है. उनके पिता डॉ हसनिन मिर्जा एक घुड़सवार पशु चिकित्सक हैं और घोड़ों के प्रति स्नेह को उन्होंने अपने बेटों फवाद और एली आस्कर में भी जगाया. दरअसल डॉ हसनिन मिर्जा एक स्टड फॉर्म (घुड़साल) पर काम करते थे, जो उनका पुस्तैनी काम था. वहीं एली आस्कर (सबसे बड़ा बेटा) और फवाद घोड़ों के आसपास काफी समय बिताते हुए बड़े हुए. बच्चे के रूप में फवाद जानवरों के आसपास बहुत सहज रहे हैं. वह बहुत साहसी थे.

  • जर्मन दिग्गज से ले रहे प्रशिक्षण : तोक्यो की तैयारी के दौरान फवाद उत्तर-पश्चिम जर्मनी के बर्गडॉर्फ में ट्रेनिंग कर रहे हैं. जर्मन घुड़सवारी दिग्गज सैंड्रा औफार्थ फवाद को ट्रेनिंग दे रहे हैं.

एशियाई खेलों में फवाद ने रजत पदक जीता

जकार्ता 2018 में फवाद 1982 के बाद से घुड़सवारी स्पर्धा में एशियाई खेलों में व्यक्तिगत पदक जीतनेवाले पहले भारतीय बने. इससे पहले रघुबीर सिंह ने नयी दिल्ली में 1982 के एशियाई खेलों में व्यक्तिगत स्वर्ण पदक जीता था. मिर्जा ने 26.40 के जम्पिंग स्कोर के साथ रजत पदक जीता, जबकि जापान के ओइवा योशियाकी ने 22.70 के स्कोर के साथ स्वर्ण पदक जीता. चीन के हुआ तियान एलेक्स ने 27.10 के स्कोर के साथ कांस्य पदक अपने नाम किया था. फवाद राकेश कुमार, आशीष मलिक और जितेंद्र सिंह के साथ भारतीय टीम का भी हिस्सा थे, जिन्होंने 121.30 के स्कोर के साथ रजत पदक जीता था.

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