32.5 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Trending Tags:

उत्तर बंगाल की 54 सीटों पर ममता बनर्जी की तृणमूल और भाजपा के बीच दिलचस्प है जंग

Bengal Election 2021 News: उत्तर बंगाल की 54 विधानसभा सीटों पर इस चुनाव में रोचक मुकाबला देखने को मिल रहा है. भाजपा इस क्षेत्र में अपना गढ़ मजबूत करने का प्रयास कर रही है, तो सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस राजनीतिक रूप से बदलते समीकरणों के बीच अपना खोया जनाधार पाने की जी-तोड़ कोशिश कर रही है.

कोलकाता : उत्तर बंगाल की 54 विधानसभा सीटों पर इस चुनाव में रोचक मुकाबला देखने को मिल रहा है. भाजपा इस क्षेत्र में अपना गढ़ मजबूत करने का प्रयास कर रही है, तो सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस राजनीतिक रूप से बदलते समीकरणों के बीच अपना खोया जनाधार पाने की जी-तोड़ कोशिश कर रही है.

उत्तर बंगाल की ये 54 सीटें 7 जिलों में पड़ती हैं. कभी कांग्रेस तो फिर वाममोर्चा का गढ़ रहे उत्तर बंगाल के जिले आदिवासी व अल्पसंख्यक समुदायों के वर्चस्व वाले इलाके थे. सत्तारूढ़ दल ने उत्तर बंगाल में 2016 के विधानसभा चुनावों में अच्छा प्रदर्शन किया था. तब उसे इस क्षेत्र की 25 सीटें मिली थीं.

वर्ष 2019 के आम चुनावों ने हवा का रुख बदल दिया और वोटर भाजपा के साथ हो लिये. पिछले आम चुनाव में कुल 8 में से 7 सीटें भाजपा ने जीत लीं और 35 विधानसभा क्षेत्रों में वह आगे भी रही. आम चुनाव में मिले झटके के बाद तृणमूल कांग्रेस यहां अपना जनाधार मजबूत करने में लग गयी.

Also Read: कल उत्तर 24 परगना और बर्दवान में पीएम मोदी की तीन जनसभाएं, 23 अप्रैल को कोलकाता में हो सकता है रोड शो

हालांकि, तृणमूल कम से कम 15 विधानसभा सीटों और 11 गोरखा समुदायों में खास प्रभाव रखने वाले गोरखा जनमुक्ति मोर्चा (जीजेएम) नेता बिमल गुरुंग को अपने पाले में लाने में सफल रही. प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष का दावा है कि उनकी पार्टी को इस चुनाव में उत्तर बंगाल से जीत का भरोसा है.

उधर, तृणमूल कांग्रेस के नेता व राज्य के मंत्री गौतम देव भी दावा करते हैं कि सत्तारूढ़ पार्टी राज्य के उत्तरी हिस्से में जीतेगी. उत्तर बंगाल के 7 जिलों में कूचबिहार की 9, जलपाईगुड़ी की 7, अलीपुरदुआर की 5, दार्जीलिंग की 6, उत्तर दिनाजपुर की 9, दक्षिण दिनाजपुर की 6 और मालदा की 12 सीटें हैं.

Also Read: बंगाल में लोगों को डराकर मांगा जा रहा है वोट, उत्तर दिनाजपुर में बोले AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी

इस क्षेत्र में घुसपैठ को लेकर वोटरों की नाराजगी को भांपकर भाजपा ने वर्ष 2019 के आम चुनाव में ‘एनआरसी’ व ‘सीएए’ को चुनावी मुद्दा बनाया था. भाजपा से राजनीतिक लड़ाई में तृणमूल को बिमल गुरुंग की वापसी से बल मिला है. ऊपर से तृणमूल को जीजेएम के बिनय तामांग गुट का समर्थन पहले से हासिल है.

गुरुंग के साथ आने से बढ़ा तृणमूल का हौसला

एक तृणमूल नेता ने कहा, ‘गुरुंग का समर्थन दरअसल उत्तर बंगाल में हमारी सबसे बड़ी उपलब्धियों में से एक है. हमने 2019 में भाजपा को मौका दिया था, पर अब हमें मायूसी से उबरने की उम्मीद है.’ उत्तर बंगाल के 7 में से 2 जिलों (कूचबिहार और अलीपुरदुआर) में चुनाव संपन्न हो चुके हैं. दार्जीलिंग, कलिम्पोंग और जलपाईगुड़ी की 13 सीटों पर 17 अप्रैल को पांचवें चरण में लोग अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे.

Also Read: बंगाल चुनाव 2021: उत्तर बंगाल के कूचबिहार और अलीपुरदुआर की 14 सीटों पर 10 अप्रैल को वोटिंग, TMC के गढ़ में BJP को बड़ी चुनौती

ज्ञात हो कि पांचवें चरण में बंगाल के 6 जिलों उत्तर 24 परगना, दार्जीलिंग, नदिया, पूर्वी बर्दवान, जलपाईगुड़ी और कलिम्पोंग की कुल 45 सीटों पर 17 अप्रैल को मतदान होना है. इस दिन उत्तर 24 परगना की 16, दार्जीलिंग की सभी 5, नदिया की 8, पूर्वी बर्दवान की 8, जलपाईगुड़ी की सभी 7 और कलिम्पोंग की एक सीट पर वोटिंग होगी.

Posted By : Mithilesh Jha

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

अन्य खबरें