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तीन महीने में आठ लाख लोगों तक पहुंचा गैस कनेक्शन

कोलकाता. 14 अगस्त को नजरूल मंच से पेट्रोलियम व प्रकृतिक गैस राज्यमंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने उज्ज्वला योजना की शुरुआत की थी. उस योजना के शुरू हुए तीन महीने पूरे होने के बाद आज 8,20,000 लोगों को नया गैस कनेक्शन उपलब्ध कराया जा चुका है. इस योजना के तहत एक करोड़ नये कनेक्शन देने की योजना […]

कोलकाता. 14 अगस्त को नजरूल मंच से पेट्रोलियम व प्रकृतिक गैस राज्यमंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने उज्ज्वला योजना की शुरुआत की थी. उस योजना के शुरू हुए तीन महीने पूरे होने के बाद आज 8,20,000 लोगों को नया गैस कनेक्शन उपलब्ध कराया जा चुका है. इस योजना के तहत एक करोड़ नये कनेक्शन देने की योजना है. बंगाल के हर घर में धुआं रहित चुल्हा जले इसकी शुरुआत हो चुकी है.

एक भेंटवार्ता के दौरान हमारे संवाददाता श्रीकांत शर्मा से उक्त बांतें इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन लिमिटेड के जनरल मैनेजर कम स्टेट लेवल को-ऑर्डिनेटर पश्चिम बंगाल रंजन कुमार महापात्रा ने कहीं. उन्होंने पेट्रोल पंपों और गैस वितरकों को हिदायत देते हुए कहा कि 24 नवंबर तक 500 और 1000 के पुराने नोट ग्राहकों से लेने होंगे, नहीं तो कार्रवाई होगी.

प्रश्न : 14 अगस्त को पेट्रोलियम व प्रकृतिक गैस राज्यमंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने राज्य में उज्ज्वला योजना की शुरुआत की थी, तब से लेकर आज तक आप ने इस योजना के तहत क्या प्रगति की.

उत्तर : प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना एक ऐसी पहल है जो काफी तेजी से पूरे देश में लागू हुई है. राज्य में भी काफी तेजी से काम हो रहा है. हमें काफी खुशी हो रही है कि 14 अगस्त को राज्य में उज्ज्वला योजना की शुरुआत होने का बाद आज तीन माह में हमने 8,20,000 गैस कनेक्शन जनता को दे दिया है. गैस सही महिला को मिले इसके साथ उसका सही और सुरक्षित उपयोग हो इसका भी हम ध्यान रख रहे हैं. महिलाओं को प्रशिक्षण देने की व्यवस्था भी हम कर रहे हैं.

प्रश्न : इन दिनों देश में कालाधन और नकली नोट पर सर्जिकल स्ट्रॉइक का माहौल है. इसके तहत कैश की कमी से आम आदमी जूझ रहा है. प्रधानमंत्री ने इस लड़ाई से लड़ने के लिए पेट्रोलियम मंत्रालय को भी साथ लिया है. उन्होंने कहा कि सभी पेट्रोल पंपों पर 500 और 1000 के नोट मान्य होंगे.

उत्तर : हमारे अफसर और सभी ऑयल कंपनी दिन-रात इस लड़ाई में प्रधानमंत्री के साथ है. प्रधानमंत्री की घोषणा के बाद मैं खुद आठ नवंबर को सभी पेट्रोल पंपों का दौरा किया और यह सुनिश्चित किया कि 500 और 1000 के नोट देनेवाले ग्राहकों को भी पेट्रोल मिले. हमने सभी पेट्रोल पंप और एलपीजी डिस्ट्रिव्यूटरों को 500 और 1000 के नोट स्वीकार करने का आदेश जारी किया है. ऐसा नहीं करनेवाले के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है. इसकी निगरानी के लिए हमने एक अफसर शैवाल कांजीलाल (फोन-9836732300) को तैनात किया है. उस अफसर का नंबर भी जारी किया. कोई भी व्यक्ति इस नंबर पर 24 घंटे में कभी भी अपनी शिकायत दर्ज करा सकता है.

प्रश्न : एलपीजी गैस वितरक भी 500-1000 का नोट लेने से मना कर रहे हैं, जबकि केंद्र सरकार ने इसकी अवधि बढ़ा कर 24 नवंबर कर कर दी है?

उत्तर : हमारे पास ऐसी कोई शिकायत नहीं आयी है, लेकिन आपको बता दें कि यदि ग्राहक गैस लेते समय भी गैस वितरक को 500 या 1000 का पुराना नोट दे रहा है तो उसे वितरक को लेना ही होगा. यदि कोई एलपीजी गैस वितरक ऐसा कर रहा है तो तुरंत 9836732300 पर शिकायत दर्ज करायी जा सकेगी. उस शिकायत पर कार्रवाई होगी.

प्रश्न :उज्ज्वला योजना के लिए बंगाल की क्या योजना है? इसका फायदा कैसे मिलेगा?

उत्तर : बंगाल में एक करोड़ लोगों को उज्ज्वला योजना के तहत गैस कनेक्शन दिया जायेगा. एक साल में हम 30 लाख घरों में उज्ज्वला योजना के तहत एलपीजी पहुंचायेंगे. वर्तमान में राज्य में एक करोड़ 10 लाख एलपीजी के ग्राहक हैं, जो आने वाले कुछ वर्षों में बढ़ कर दो करोड़ से ऊपर हो जायेंगे. इस योजना का लाभ महिलाएं ले सकती हैं. इसके लिए सबसे पहले आपके पास आधार कार्ड, बैंक एकाउंट, सरकार द्वारा जारी सोशल इकोनॉमी कंसेंसस डाटा में नाम होना चाहिए. इसके साथ ही उनके पास पहले से गैस कनेक्शन नहीं होना चाहिए. वर्तमान में हम शहरों और गांव में 360 स्ट्रीट प्ले का आयोजन करके उज्ज्वला योजना को लोगों तक पहुंचा जा रहा है.

प्रश्न : वर्तमान में बंगाल में कितने घरों में एलपीजी क्नेक्शन हैं?

उत्तर : बंगाल में लगभग 9 करोड़ 15 लाख घर हैं. हमारा लक्ष्य राज्य के 85 प्रतिशत घरों में एलपीजी पहुंचाना है. आज बंगाल के अंदर 100 में से 51 लोगों के पास ही एलपीजी है. यानी एक करोड़ 10 लाख लोगों के घरों में एलपीजी है.

प्रश्न :राज्य में जिस हिसाब से एलपीजी कनेक्शन बढ़ेंगे. क्या उस हिसाब से वितरक मौजूद हैं? क्योंकि पहले ही लोगों को गैस की कमी से जूझना पड़ता है.

उत्तर : वर्तमान में राज्य में 990 वितरक हैं और आने वाले दिनों में 225 वितरक और बढ़ जायेंगे. आने वाले दिनों में हम 400 और वितरक बढ़ायेंगे. 625 नये वितरकों को लाइसेंस दिया जाना है. लिहाजा कुल 1600 वितरक हो जायेंगे. जल्द ही इसके लिए विज्ञापन निकलेगा. वर्तमान में राज्य में 10 रिफिलिंग प्लांट हैं. इसके साथ ही पानागढ़ में देश ही नहीं, बल्कि एशिया का सबसे बढ़ा एलपीजी बोटलिंग प्लांट का काम शुरू हो चुका है. 2018 तक यह प्लांट काम करने लगेगा.

प्रश्न : कहा जाता है कि बंगाल में राष्ट्रीय औसत से काफी कम गैस कनेक्शन है? इसे कैसे पूरा करेंगे ?

उत्तर : राज्य के जिलों में गैस कनेक्शन का आंकड़ा काफी कम है. पुरुलिया में 100 में से 19 लोगों, जलपाईगुड़ी में 100 में से 20 लोगों, उत्तर दिनाजपुर में 100 में से 21 लोगों, मालदा जिले में 100 में 28 लोगों और बांकुड़ा में 100 में से 28 लोगों के घरों में एलपीजी क्नेक्शन है. बंगाल में 14 जिले ऐसे हैं, जहां एलपीजी क्नेक्शन राष्ट्रीय औसत से कम है. हमारी योजना है कि उज्ज्वला योजना आम लोगों तक पहुंचे और एलपीजी योजनाएं सही रूप से लागू हो और बिचौलियों की भूमिका समाप्त हो.

प्रश्न : पाइल नैचुरल गैस को लेकर कोलकाता में क्या योजना है?

उत्तर : कोलकाता के शहरी अंचलों में एक नयी योजना पाइप नैचुरल गैस (पीएनजी) की शुरुआत होनेवाली है. इस योजना के तहत पानी और बिजली की तरह ही रसोई गैस की सप्लाई होगी. दो से तीन सालों में पीएनजी योजना की शुरुआत हो जायेगी. इससे कोलकाता शहर का प्रदूषण कम होगा. इसके लिए जगदीशपुर से हल्दिया तक गैस पाइप लाइन की कंक्रीट प्लान बन कर तैयार है. केंद्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस राज्यमंत्री धर्मेंद्र प्रधान के प्रयास से उक्त परियोजना शुरू होने जा रही है. इस पाइप लाइन के लिए 40 प्रतिशत भारत सरकार खर्च करेगी. इस योजना के शुरू होने से बंगाल के अौद्योगिक विकास में साथ लाइफ स्टाइल में भी एेतिहासिक बदलाब होगा. धामरा उड़िसा से आने वाली यह पाइल पाइन की लंबाई लगभग दो हजार किलोमीटर होगी.

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