इबे पर विक्रेताओं की संख्या में भी उछाल आया है. बड़े शहरों के साथ-साथ टायर एक तथा टायर तीन के शहरों के खरीदार उत्पादों को खरीद रहे हैं. विक्रेताओं की संख्या 45,000 तक हो गयी है. कुल खरीदारों में से 60 फीसदी खरीदार छोटे व मध्यम श्रेणी के शहरों से हैं. ये इलेक्ट्रानिक उत्पादों से लेकर फैशन से संबंधित उत्पाद खरीदते हैं.
इबे राज्य एजेंसियों के साथ मिल कर काम कर रही है. इसमें गुजरात व ओड़िशा की एजेंसियां शामिल हैं. ये इबे के प्लेटफार्म के माध्यम से नये विक्रेताओं को जगह देते हैं और उनके लिए बाजार उपलब्ध कराते हैं. कंपनी अब पुराने उत्पादों की बिक्री पर भी जोर दे रही है. वर्तमान में यह पांच फीसदी है. इसे बढ़ा कर 20 फीसदी तक करने का लक्ष्य रखा गया है. उन्होंने स्वीकार किया कि यूएस लिस्टेट इबे इंक की कंपनी इबे इंडिया फिलहाल अभी निवेश की प्रक्रिया में ही है तथा विगत 20 सालों से विश्वसनीयता के साथ काम कर रही है. यह 100 फीसदी की दर से विकास कर रही है.