कांग्रेस, राजद, भाकपा और समाजवादी पार्टी समर्थित जदयू से निष्कासित मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी को भाजपा के गुप्त समर्थन और बिहार में राष्ट्रपति शासन लगाये जाने की चर्चा के बीच ममता ने हाल ही में नीतीश को फोन कर के उनके पक्ष में संघर्ष का आश्वासन दिया था.
बसपा प्रमुख मायावती ने रविवार को नीतीश से फोन पर बात कर भाजपा के बिहार में राष्ट्रपति शासन लगाये जाने की स्थिति में इसके खिलाफ समर्थन का वादा किया था. शिवसेना ने अपने सहयोगी भाजपा पर प्रहार करते हुए मांझी का समर्थन करने के मुद्दे पर तंज कसते हुए कहा था कि उनकी हिमायत करना गलत होगा, क्योंकि यह ‘ राजनीति में काले युग ’ को समर्थन देना होगा.