कोलकाता: ‘सारे तीर्थ बार-बार गंगासागर एक बार’. पश्चिम बंगाल के सागर जिले में स्थित गंगासागर में देश ही नहीं विदेशों से भी श्रद्धालुओं का सैलाब इसी आस्था को साबित करने के लिए प्रति वर्ष मकर संक्राति के अवसर पर उमड़ पड़ता है. उल्लेखनीय है कि करीब 50 लाख लोग इस मेले में शिरकत करते हैं. जो कि संख्या के लिहाज से कुंभ के समान ही है. ऐसे में भीड़ की वजह से गुम या लापता बीमार लोगोंं को उनके परिवार से मिलाने के लिए हैम रेडियो आपरेटर अभी से अपनी तैयारी में जुटा है. इस बार इन लोगों ने www.myham.in नामक एक बेवसाइट के माध्यम से लोगों की सेवा करने का नायाब तरीका अपनाया है.
हैम रेडिया पश्चिम बंगाल के अध्यक्ष अंबरीश नाग विश्वास ने बताया कि इस काम में उन्हें वेस्ट बंगाल स्टेट डिजाॅस्टर मैनेजमेंट, वेस्ट बंगाल पुलिस (टेलीकाम), नेशनल इंस्टीच्यूट ऑफ एमेच्योर रेडियो, स्टेट आईएजी व सिक्स सिगमा नामक चिकित्सकों की स्वयंसेवी संस्था ने इस कार्य में सहयोग किया है. इस बेवसाइट का आधिकारिक उद्घाटन करने के बाद जनवरी की 8 तारीख से लोग इसका उपयोग आरंभ कर सकेंगे. इस तकनीक को नीलकंठ चक्रवर्ती ने तैयार किया है. जो स्वंय भी एक हैम आपरेटर हैं.
कैसे सहायता करेगी माईहैम : यह बेवसाइट काफी सरल है. इसमें अपना नाम पता व मोबाइल नंबर डालने पर एक डाकेट नंबर मिलेगा. यह काफी अल्प सिग्नल में भी एंड्रायड फोन पर काम करेगा. जो व्यक्ति कहीं खो गया है वह नजदीकी स्वयंसेवी संस्था या पुलिस को कहकर इस बेवसाइट में अपना नाम व अन्य जानकारी फीड करवा सकता है.
इसके अलावा गंगासागर व इसके आस-पास के अस्पतालों के डाक्टरों को भी वहां रहने वाले बीमार व्यक्ति का हुलिया व अन्य जानकारी फीड करने को कहा गया है, ताकि उस डाकेट नबंर से उसके दूर बैठे परिजन उसकी तलाश कर सके. इसके लिए कचुबेरिया, लॉट नंबर आठ, नामखाना, सागर मेला प्रागंण व चेमागुड़ी में वाई-फाई जोन की भी प्रशासन ने व्यवस्था की है.