इस वजह से मानसिक प्रदूषण भी परेशान करने लगा है. इससे निपटने के लिए पौधरोपण बेहद जरूरी है. विशेष रूप से शहरी इलाकों में अधिक संख्या में पेड़ लगाने होंगे. हम सभी को हरियाली, प्रकृति व वन बचाने का संकल्प लेना होगा. मुख्यमंत्री ने बताया कि इस वर्ष राज्य वन विभाग ने दो करोड़ 13 लाख पौधे लगाये हैं. हरियाली बढ़ाने के लिए हम लोगों ने सबूजश्री नामक एक परियोजना आरंभ की है, जिसमें एक बच्चे के जन्म लेने पर उसकी मां को एक पौधा दिया जाता है. महिला अपने बच्चे के साथ-साथ उस पौधे का भी आैलाद की तरह ख्याल रखेगी. जब वह बच्चा 18 वर्ष का हो जायेगा. तब तक वह पौधा भी एक बड़े पेड़ का रूप धारण कर चुका होगा आैर उसकी कीमत कई लाख रुपये हो जायेगी.
परिवार के लिए वह एक संपत्ति होगा. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विधानसभा स्पीकर विमान बनर्जी ने कहा कि इन दिनों आवास बनाने के नाम पर बड़ी संख्या में पेड़ काटे जा रहे हैं. निर्माण संस्थाएं काटे गये पेड़ के बदले में पेड़ लगाने की बात तो करती हैं, पर हकीकत में वैसा होता नहीं है. श्री बनर्जी ने कहा कि उनका इलाका बारुईपुर एक समय काफी हरा-भरा व सुंदर था, पर बड़ी संख्या में तैयार हो रहीं आवासीय परियोजनाआें के लिए पेड़ों की अंधाधुंध कटाई के कारण बारुईपुर की सुंदरता को ग्रहण लग गया है.
आवास व पर्यावरण विभाग को इस आेर ध्यान देना चाहिए. आवास जरूरी है, पर पर्यावरण का ध्यान रखना भी आवश्यक है. अधिक संख्या में पौधरोपण करना होगा. पेड़ों की कटाई का सीधा प्रभाव पर्यावरण पर पड़ रहा है. पर्यावरण के संतुलन को बनाये रखना होगा. कम होते जंगल के कारण जानवरों का आबादी पर हमले की घटना काफी बढ़ गयी है. इन सब बातों पर ध्यान देना होगा. इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने विधासनभा परिसर में एक पौधा भी लगाया.