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बंगाल चुनाव 2021: तृणमूल में असंतोष से पलट सकती है खड़दह विधानसभा सीट की बाजी

Bengal Vidhan Sabha Chunav 2021: तृणमूल ने दिग्गज नेता व वित्त मंत्री रहे अमित मित्रा को उनकी सेहत का हवाला देते हुए टिकट नहीं दिया गया. इससे अमित मित्रा के समर्थक बेहद नाराज हैं. चुनाव में तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं का असंतोष उसका खेल बिगाड़ सकता है.

कोलकाता : तृणमूल में ही कई नेता बागी बन गये हैं. कई इलाकों में समर्थकों ने घोषित उम्मीदवारों के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन किया. कई असंतुष्ट पाला बदलकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में शामिल हो गये. कई इलाकों में तृणमूल के खिलाफ कार्यकर्ताओं का विरोध तो नहीं फूटा, पर अंदर ही अंदर रोष है. ऐसी ही सीटों में एक सीट उत्तर 24 परगना जिला की खड़दह विधानसभा सीट भी है.

तृणमूल ने दिग्गज नेता व वित्त मंत्री रहे अमित मित्रा को उनकी सेहत का हवाला देते हुए टिकट नहीं दिया गया. इससे अमित मित्रा के समर्थक बेहद नाराज हैं. चुनाव में तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं का असंतोष उसका खेल बिगाड़ सकता है.

खड़दह से लगातार दो बार जीत दर्ज करने वाले अमित मित्रा की जगह इस बार तृणमूल ने स्थानीय नगरपालिका के प्रशासक काजल सिन्हा को टिकट दिया है. श्री सिन्हा का दावा है कि तृणमूल इस बार बड़े अंतर से जीतेगी. वर्ष 2011 में जितनी बड़ी जीत मिली थी, उससे भी बड़ी जीत वर्ष 2021 के चुनाव में होगी.

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इस सीट के अधीन खड़दह नगरपालिका के अलावा पानीहाटी नगरपालिका के 15 और 35 नंबर वार्ड के साथ 18 से 21 नंबर वार्ड क्षेत्र के अलावा बैरकपुर 2 कम्युनिटी डेवलपमेंट ब्लॉक के ग्राम पंचायत इलाकों में बांदीपुर, बिलकांडा वन, बिलकांडा टू और पाटुलिया ग्राम पंचायत के क्षेत्र शामिल हैं.

खड़दह में जीत-हार का ट्रैक रिकॉर्ड

खड़दह विधानसभा सीट पर वर्ष 1957 में पहले चुनाव में प्रजा सोशलिस्ट पार्टी ने जीत हासिल की थी. उसके बाद से लेकर लगातार 12 बार यानी वर्ष 1962 से वर्ष 2011 तक वाम मोर्चा और उसके घटक दलों ने ही जीत का परचम लहराया. दो बार भाकपा ने जीत हासिल की, तो 10 बार माकपा ने इस सीट को जीता.

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इस लिहाज से देखें, तो यह क्षेत्र शुरू से ही वाममोर्चा का गढ़ रहा है. वर्ष 2011 में सत्ता परिवर्तन की लहर आयी और तृणमूल ने इस सीट को वाम मोर्चा से छीन लिया. वर्ष 2011 और उसके बाद वर्ष 2016 के विधानसभा चुनावों में तृणमूल कांग्रेस के टिकट पर अमित मित्रा यहां से जीते.

क्या कहते हैं लोकसभा चुनाव 2019 के आंकड़े

खड़दह सीट दमदम संसदीय क्षेत्र के अधीन है. वर्ष 2016 में तृणमूल के उम्मीदवार को 49.65 प्रतिशत वोट मिले थे. माकपा और कांग्रेस के गठबंधन को 37.07 प्रतिशत मत प्राप्त हुए थे. भाजपा महज 9.68 प्रतिशत ही वोट हासिल कर पायी थी. इसके बाद वर्ष 2019 में आम चुनाव हुए. दमदम संसदीय क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले इस विधानसभा क्षेत्र में तृणमूल को 41.93 प्रतिशत वोट मिले, तो भाजपा ने 41.21 प्रतिशत वोट हासिल किये. माकपा और कांग्रेस को क्रमश: 11.41 और 2.11 प्रतिशत ही वोट मिले थे.

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खड़दह में मतदान 22 अप्रैल को

उत्तर 24 परगना में दो चरणों में चुनाव होंगे. 17 अप्रैल और 22 अप्रैल को जिले के लोग अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे. खड़दह विधानसभा सीट पर छठे चरण में 22 अप्रैल को लोग वोट डालेंगे. इस दिन जिला की 17 विधानसभा सीटों पर मतदान कराये जायेंगे. उत्तर 24 परगना के अलावा छठे चरण में पूर्वी बर्दवान की 8 सीटों के अलावा नदिया की 9 और उत्तर दिनाजपुर की सभी 9 सीटों पर भी वोटिंग होगी.

यहां बताना प्रासंगिक होगा कि पश्चिम बंगाल की 294 सदस्यीय विधानसभा के लिए आठ चरणों में मतदान हो रहा है. दो चरणों की वोटिंग हो चुकी है. अब 6 अप्रैल, 10 अप्रैल, 17 अप्रैल, 22 अप्रैल, 26 अप्रैल और 29 अप्रैल को अलग-अलग जिलों में वोटिंग होगी. मतगणना 2 मई को होगी. 4 मई को चुनाव की पूरी प्रक्रिया समाप्त हो जायेगी.

Posted By : Mithilesh Jha

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