कानपुर : कोपरंगज इलाके में बरसों से रह रहे शुगर मिल कंपाउंड के निवासियों ने अदालत के आदेश से अपने मकान खाली कर दिये हैं लेकिन अब कोई रहने का आसरा न होने के कारण यहां के करीब 86 परिवारों ने राष्ट्रपति से इच्छा मृत्यु की मांग की है. इन लोगों ने इस संबंध में एक पत्र राष्ट्रपति को भेजा है तथा उसकी प्रति उच्चतम न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश, कानपुर के जिलाधिकारी और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक को भेजी है.
गौरतलब है कि करीब एक माह पहले शुगर मिल कंपाउंड में रहने वाले 200 परिवारों से अदालत के फैसले के बाद पुलिस प्रशासन ने इनके मकान खाली करा लिये थे. अदालत का मानना था कि यह लोग अवैध रुप से रह रहे हैं. इन लोगों के बेघर होने के बारे में पिछले रविवार को कानपुर के सांसद और कोयला मंत्री श्रीप्रकाश जायसवाल से भी सवाल पूछा गया था तो उन्होंने कहा था कि मामला अदालत में लंबित है, इसलिये वह इस पर कोई टिप्पणी नहीं करेंगे.शुगर मिल कंपाउंड में रहने वाले मजदूर नेता वीरेन्द्र दुबे ने बताया कि अब किसी के पास रहने के लिये छत नहीं है. सब बेरोजगार है. उनका आरोप है इस कंपाउंड पर भूमाफिया की नजर है.
उन्होंने कहा कि इसी को देखते हुये कालोनी में रहने वाले 86 परिवारों ने राष्ट्रपति को पत्र लिखकर मांग की है कि या तो उनके आवास दिये जायें या फिर उन्हें सामूहिक इच्छा मृत्यु की अनुमति प्रदान की जायें, क्योंकि हम लोग भूमाफियाओं के खिलाफ मुकदमे लड़ते लड़ते थक गये हैं.