पंडरा बाजार समिति में दुकान का किराया पांच रुपये प्रति स्क्वायर फीट है. जबकि, पंडरा बाजार समिति के बाहर ही अगर दुकान लेते हैं, तो किराया चार से पांच गुना तक बढ़ जाता है. इसके बाद भी बाजार समिति के दुकानदार समय पर किराया नहीं चुका रहे हैं. हाल यह है कि रांची में ही अकेले पंडरा बाजार समिति मुख्य मंडी और आलू मंडी को मिला कर लगभग 2़ 5 करोड़ रुपये और बाजार समिति से जुड़ी अन्य मंडियों का लगभग 50 लाख रुपये किराया बकाया है. इस प्रकार कुल किराया लगभग तीन करोड़ रुपये बकाया है.
अपनी मर्जी से चुकाते हैं किराया :
बाजार समिति के दुकानदार अपनी मर्जी से किराया चुकाते हैं. मतलब यह है कि किराया देर से चुकाने पर किसी प्रकार की कोई पेनाल्टी नहीं लगती. इसलिए कई व्यापारी इसे गंभीरता से नहीं लेते.
बाजार समिति में दुकानें 100 स्क्वायर फीट से लेकर लगभग 920 स्क्वायर फीट तक की है. जबकि, गोदाम का साइज 1,500 से लेकर 3,000 स्कवायर फीट तक का है. पंडरा बाजार समिति के पणन सचिव उत्तम कुमार ने कहा कि समय पर किराया नहीं चुकाने पर अखबार में नाम प्रकाशित करने के साथ ही जरूरत पड़ी, तो सर्टिफिकेट केस भी किया जायेगा.
मार्च तक पूरा किराया वसूलें पणन सचिव : एमडी
झारखंड राज्य कृषि विपणन पर्षद (मार्केटिंग बोर्ड) के एमडी केपी सिंह ने रांची सहित झारखंड के सभी बाजार समितियों को निर्देश दिया है कि मार्च तक बाजार समिति का पूरा किराया वसूलें. इसमें कोई कोताही नहीं होनी चाहिए.
बाजार समितियों के किराये पर लगा 18% जीएसटी
बाजार समितियों में स्थित दुकानों व गोदामों के किराया पर जीएसटी लगा दिया गया है. झारखंड के कुछ बाजार समितियों में किराया पर जीएसटी लगने की सूचना नोटिस के माध्यम से दे दी गयी है, तो कुछ बाजार समितियों में जल्द ही जीएसटी लगाने की तैयारी है. इसके लिए आवश्यक प्रक्रिया पूरी की जा रही है.
दुकानदारों को भेजे गये नोटिस के माध्यम से कहा गया है कि जीएसटी के प्रावधान के तहत किराया की राशि पर एक जुलाई, 2017 के प्रभाव से 18 प्रतिशत की दर से जीएसटी देय है. इसे भुगतान कराना सुनिश्चित करेंगे. पत्र में यह भी कहा गया कि अपना जीएसटी निबंधन संख्या भी कार्यालय को उपलब्ध करायें.
वर्तमान में जीएसटी लगने के साथ ही पूर्व का भी बकाया जीएसटी का भुगतान दुकानदारों को करना है. वर्तमान में दुकान और गोदाम का किराया पांच रुपये प्रति स्क्वायर फीट है. उदाहरण के रूप में 920 स्क्वायर फीट दुकान का किराया 4600 रुपये होता है. इस पर 18 प्रतिशत जीएसटी लगने पर 828 रुपये जोड़ कर 5428 रुपये कुल किराया देना होगा. किराया पर जीएसटी लगने का नोटिस मिलने के बाद कई व्यापारी इसे लेकर परेशान हो रहे हैं. व्यापारियों का कहना है कि जब जीएसटी लेना है, तो पहले ही क्यों नहीं लिया गया. इसे पीछे की तिथि से मांगने का क्या औचित्य है.