वह पुलिस अफसर को बताता है कि जेल से निकलने के बाद उसकी आर्थिक स्थिति खराब हो गयी है. वह पुलिस के लिए काम करना चाहता है. इसके बदले पुलिस उसे रुपये दे. एक पुलिस अधिकारी ने दीपू खान से कहा : उसकी वजह से पूर्व में पुलिस अफसरों की बदनामी हो चुकी है. इसलिए वर्तमान में पुलिस उसे कोई काम नहीं सौंप सकती है. तब दीपू खान पुलिस अफसर से कहने लगा, मैंने इंतेजार अली को जान बूझ कर विस्फोटक बरामदगी के झूठे केस में नहीं फंसाया था. मुझे आर्मी इंटेलिजेंस के अफसरों ने ऐसा करने के लिए कहा था. विस्फोटक के साथ जो मैप मिला था, उसमें कोड वर्ड में कुछ लिखा हुआ था, वह भी आर्मी के अफसरों ने लिखा था और मुझे बैग में रखने के लिए दिया था.
वर्तमान में दीपू खान रांची पुलिस के कुछ अफसरों के संपर्क में है. पुलिस से अपने पुराने संबंध और उनके लिए काम करने का दावा कर वर्तमान पुलिस अधिकारियों से भी वह मदद मांग रहा है. हालांकि दीपू खान के संपर्क और संबंध के पुराने पुलिस अफसर रांची से जा चुके हैं. एक पुलिस अधिकारी के अनुसार दीपू खान राजधानी और आसपास के थानों में भी जाकर सीनियर पुलिस अफसरों के लिए काम करने की जानकारी देकर थानेदारों को गुमराह कर रहा है.