रांची: राज्य सरकार ने चरणबद्ध तरीके से सभी स्कूलों में बिजली पहुंचाने का लक्ष्य रखा है. इसकी प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है. विद्युतीकरण के लिए राशि जिला शिक्षा अधीक्षक को भेज दी गयी है. जिला शिक्षा अधीक्षक कार्यालय द्वारा उक्त राशि विद्यालय प्रबंध समिति के बैंक खाते में भेजी जायेगी.
स्कूल में वायरिंग का काम विद्यालय प्रबंध समिति की देखरेख में होगा. वहीं स्कूल तक बिजली पहुंचाने का काम ऊर्जा विभाग को दिया गया है. इसके लिए ऊर्जा विभाग को झारखंड शिक्षा परियोजना द्वारा अलग से 70 करोड़ रुपये दिये गये हैं. सभी कक्षाओं में पंखा व ट्यूब लाइट भी लगायी जायेगी. इसके लिए राशि का निर्धारण कर दिया गया है. राज्य में कुल 40174 प्राथमिक व मध्य विद्यालय हैं, जिसमें से 30,841 स्कूलों में विद्युतीकरण होना है. सरकार ने शत-प्रतिशत स्कूलों में बिजली कनेक्शन पहुंचाने का निर्णय लिया है़.
इसके लिए स्कूलों से बिजली उपलब्धता की दूरी का सर्वे कराया गया था़ इसमें 17054 स्कूल ऐसे पाये गये, जिससे एक किलोमीटर की दूरी पर बिजली की सुविधा उपलब्ध है़ स्कूलों के विद्युतीकरण के लिए राज्य सरकार द्वारा 171 करोड़ रुपये स्वीकृत किये गये हैं, जबकि केंद्र सरकार ने 50 करोड़ रुपये दिये हैं. राज्य के 12,034 स्कूलों से दो किलोमीटर की दूरी पर तथा 6,963 स्कूलों में दो किलोमीटर से अधिक की दूरी पर बिजली उपलब्धता है.
साहेबगंज में मात्र 11 स्कूल में विद्युत कनेक्शन : राज्य में वर्तमान में कुल 4,123 स्कूलोंं में बिजली कनेक्शन है़ इसमें से सबसे अधिक 830 स्कूल गिरिडीह में है़ं सबसे कम 11 स्कूल जामताड़ा में है़ं रांची में 2506 स्कूल में से मात्र 175 स्कूल में बिजली की सुविधा है़ रांची में 32 प्राथमिक, 79 मध्य व 64 उच्च विद्यालय में बिजली की सुविधा है़.
स्कूलों में बिजली पहुंचाने के मामले में झारखंड राज्य का देश में है 34 वां स्थान
स्कूलों में बिजली पहुंच के मामले में देश में झारखंड का 34वां स्थान है. झारखंड के साथ बने उत्तराखंड व छत्तीसगढ़ की स्थिति झारखंड से काफी बेहतर है. उत्तराखंड के 65 फीसदी स्कूल व छत्तीसगढ़ के 51 फीसदी स्कूलों में बिजली का कनेक्शन है. उत्तराखंड के 57 फीसदी प्राथमिक विद्यालय व छत्तीसगढ़ के 44 फीसदी प्राथमिक विद्यालयों में बिजली पहुंच गयी है.
यहां शत-प्रतिशत स्कूलों में है बिजली
चंडीगढ़ , लक्षद्वीप, पुंडुचेरी, दमन व द्वीप के शत प्रतिशत स्कूलों में बिजली है. इधर, झारखंड सरकार भी शत प्रतिशत विद्यालयों में बिजली पहुंचाने के लिए चरणबद्ध तरीके से काम शुरू कर दिया है.