वह शहीद मैदान में रांची जिले की बीपीएल महिलाअों को दुधारू गाय वितरित करने के लिए अायोजित पशु मेले के उदघाटन समारोह में बोल रहे थे. उन्होंने कहा कि गत वित्तीय वर्ष में 10 हजार गाय बंटनी थी. वहीं चालू वित्तीय वर्ष में भी 10 हजार गाय बंटनी है. इधर, कुल लक्ष्य 20 हजार के विरुद्ध हम अब तक सिर्फ एक हजार गाय ही बांट सके हैं. अब योजना वाले सभी 15 जिलों में सालों भर पशु मेला लगाकर हम 19 हजार दुधारू गाय वितरित करेंगे. सभी गाय तीन साल के बीमा के साथ लाभुकों को दी जायेगी. पहले एक गाय मिलेगी, फिर छह माह बाद दूसरी गाय दी जायेगी. इस दौरान मंत्री ने कुछ लाभुकों के बीच गाय का भी वितरण किया. सहायक निदेशक, गव्य मुकुल प्रसाद सिंह ने अपने स्वागत भाषण में कहा कि मेला में भाग लेने वाले पशु विक्रेताअों से शपथपत्र ले लिया गया है. योजना में किसी तरह की गड़बड़ी होने पर कार्रवाई होगी. लाभुकों को गाय जांच-परख कर दी जायेगी. श्री सिंह ने कहा कि झारखंड में दुधारू पशु उपलब्ध कराना एक चुनौती है. अभी झारखंड बिहार से चार लाख लीटर दूध मंगाता है. यह स्थिति बदलनी है.
Advertisement
साल भर लेगेंगे पशु मेले, बांटी जायेंगी 19 हजार गाय
रांची: बीपीएल महिलाअों को 90 फीसदी अनुदान पर दो गाय देने की योजना उनके स्वरोजगार व सशक्तीकरण की योजना है. शेष 10 फीसदी रकम भी अभी लाभुक महिलाअों के बदले सरकार दे रही है. दूध की जो कीमत मिलेगी, उससे एक वर्ष के दौरान यानी 12 किस्तों में 10 फीसदी राशि काट ली जायेगी. यानी […]
रांची: बीपीएल महिलाअों को 90 फीसदी अनुदान पर दो गाय देने की योजना उनके स्वरोजगार व सशक्तीकरण की योजना है. शेष 10 फीसदी रकम भी अभी लाभुक महिलाअों के बदले सरकार दे रही है. दूध की जो कीमत मिलेगी, उससे एक वर्ष के दौरान यानी 12 किस्तों में 10 फीसदी राशि काट ली जायेगी. यानी अनुदान के अलावा शेष 10 फीसदी रकम पर ब्याज नहीं लगेगा. इस तरह से महिला लाभुकों को अभी एक रुपया भी नहीं देना है. उक्त बातें कृषि, पशुपालन व सहकारिता मंत्री रंधीर कुमार सिंह ने कही.
वह शहीद मैदान में रांची जिले की बीपीएल महिलाअों को दुधारू गाय वितरित करने के लिए अायोजित पशु मेले के उदघाटन समारोह में बोल रहे थे. उन्होंने कहा कि गत वित्तीय वर्ष में 10 हजार गाय बंटनी थी. वहीं चालू वित्तीय वर्ष में भी 10 हजार गाय बंटनी है. इधर, कुल लक्ष्य 20 हजार के विरुद्ध हम अब तक सिर्फ एक हजार गाय ही बांट सके हैं. अब योजना वाले सभी 15 जिलों में सालों भर पशु मेला लगाकर हम 19 हजार दुधारू गाय वितरित करेंगे. सभी गाय तीन साल के बीमा के साथ लाभुकों को दी जायेगी. पहले एक गाय मिलेगी, फिर छह माह बाद दूसरी गाय दी जायेगी. इस दौरान मंत्री ने कुछ लाभुकों के बीच गाय का भी वितरण किया. सहायक निदेशक, गव्य मुकुल प्रसाद सिंह ने अपने स्वागत भाषण में कहा कि मेला में भाग लेने वाले पशु विक्रेताअों से शपथपत्र ले लिया गया है. योजना में किसी तरह की गड़बड़ी होने पर कार्रवाई होगी. लाभुकों को गाय जांच-परख कर दी जायेगी. श्री सिंह ने कहा कि झारखंड में दुधारू पशु उपलब्ध कराना एक चुनौती है. अभी झारखंड बिहार से चार लाख लीटर दूध मंगाता है. यह स्थिति बदलनी है.
दूध संग्रह पदाधिकारी मिलन मिश्रा ने कहा कि कुल 14 जिलों के 750 गांवों के करीब 10 हजार दुग्ध उत्पादक संघ से जुड़े हैं. इनसे करीब 65 हजार लीटर एनडीडीबी की डेेयरी को मिल रहा है. अब जिन्हें गाय मिलेगी, वे महिलाएं भी इस दुग्ध संघ से जुड़ जायेंगी. विभाग के संयुक्त निदेशक शैलेंद्र कुमार व दुग्ध मित्र से जुड़े जयप्रकाश जायसवाल ने भी महिलाअों को संबोधित किया.
…ब्लैक लिस्टेड होंगे
पशु मेला में लाभुकों से ठगी या किसी अन्य गड़बड़ी की शिकायत के लिए पशुपालन मंत्री ने एक मोबाइल नंबर (97714-93920) जारी किया है. इस नंबर पर गाय वितरण योजना या पशु मेले से संबंधित कोई भी शिकायत की जा सकती है. मंत्री ने कहा कि दोष साबित होने पर संबंधित पशु व्यापारी को ब्लैक लिस्टेड कर दिया जायेगा. अायोजन स्थल पर ही एक लाभुक की शिकायत पर मंत्री ने संबंधित पशु व्यापारी को बुलाकर चेताया.
अधिकतम 45 हजार रुपये
नाबार्ड ने अनुदान योजना के लिए प्रति गाय अधिकतम 45 हजार रुपये की लागत तय की है. शेड, बीमा व अन्य खर्च सहित प्रति लाभुक योजना की कुल लागत 116400 रुपया निर्धारित है. चयन के 10 दिन के अंदर लाभुक के खाते में 90 फीसदी राशि ट्रांसफर कर दी जाती है. पर पशु की खरीद पर ही इसे निकाला जा सकता है. लाभुकों से कहा गया है कि वे तीन-चार दिन गाय दुह कर दूध उत्पादन की सही मात्रा जान कर ही गाय खरीदें. विभाग गाय के चयन में उन्हें तकनीकी सहयोग करेगा.
लाभ लेने की प्रक्रिया
पशुपालन विभाग ने योजना संचालन वाले जिलों में मिल्क रूट तय कर रखा है. इस रूट पर पड़नेवाले गांवों की बीपीएल महिला लाभुक अपना नाम गव्य विकास पदाधिकारी की सूची में लिखवा सकती है. ग्राम पंचायत संबंधित लाभुक की अनुशंसा करेगी तथा बीपीएल संख्या का सत्यापन बीडीअो से कराना होगा. अनुशंसित लाभुकों को जिला गव्य विकास पदाधिकारी निशुल्क आवेदन पत्र देंगे. इसे भर कर इसी पदाधिकारी को देना होगा तथा इसकी रसीद ले लेनी होगी.
Prabhat Khabar App :
देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए
Advertisement