शिक्षा मंत्री धरना स्थल पहुंचीं समाधान का आश्वासन दिया.
रांची : मानव संसाधन विकास मंत्री गीताश्री उरांव सोमवार को देर शाम झारखंड राज्य वित्तरहित शिक्षा संयुक्त संघर्ष मोरचा की ओर से बिरसा चौक पर आयोजित अनशन स्थल पर पहुंचीं. उन्होंने आंदोलनकारियों को आश्वासन दिया कि मांगों से संबंधित सभी संचिकाएं उन्होंने मंगा ली हैं. उसका अध्ययन करने के बाद उन्होंने 24 सितंबर को शाम पांच बजे उच्चस्तरीय बैठक बुलायी है.
बैठक में विभागीय सचिव, निदेशक, उप निदेशक व मोरचा के अधिकारी शामिल होंगे. उसमें विचार-विमर्श कर ठोस निर्णय लिया जायेगा. तब तक अनशन कार्यक्रम को स्थगित कर दिया जाये. मंत्री के काफी आग्रह के बाद अनशन स्थल पर बैठक हुई. सर्वसम्मति से अनशन कार्यक्रम को 24 सितंबर की शाम पांच बजे तक के लिए स्थगित करने का निर्णय लिया गया.
इससे पहले मोरचा के तत्वावधान में सोमवार सुबह से बिरसा चौक में अनशन शुरू किया गया. मोरचा के चंद्रेश्वर पाठक ने कहा कि छह सूत्री लंबित मांगों को लेकर अनशन शुरू किया गया. 24 सितंबर को शिक्षा मंत्री गीताश्री उरांव के आवास का घेराव का कार्यक्रम बनाया गया था. 25 सितंबर से क्षेत्र में ही विधायकों का घेराव शुरू करने की योजना थी. वहीं दशहरा के बाद मुख्यमंत्री के आवास का घेराव किया जायेगा.
दूर की जायेंगी समस्याएं
शिक्षा जगत की समस्याओं पर मंत्री गीताश्री उरांव ने कहा
रांची : झारखंड प्रदेश कांग्रेस कमेटी के शिक्षा विभाग के तत्वावधान में आयोजित संगोष्ठी में मानव संसाधन विकास मंत्री गीताश्री उरांव ने शिक्षा जगत की समस्याओं को दूर करने का आश्वासन दिया.
सोमवार को झारखंड विधानसभा के सभागार में शिक्षा, शिक्षक की समस्याएं व उसका समाधान विषय पर आयोजित संगोष्ठी का उदघाटन करते हुए उन्होंने कहा कि शिक्षा जगत की समस्याओं को दूर करने को प्राथमिकता दी जा रही है. कई समस्याओं को शीघ्र दूर कर लिया जायेगा. टेट उत्तीर्ण अभ्यर्थियों को शिक्षक पद पर नियुक्ति शीघ्र पूरी कर ली जायेगी.
संगोष्ठी में 13 मुद्दों पर चर्चा की गयी. पारा शिक्षकों का मानदेय 10,000 रुपये करने, संशोधित फिटमेंट टेबल को वित्त विभाग द्वारा स्थगित करने, डीडीओ पर रोक लगाने सहित अन्य मुद्दों पर विचार-विमर्श किया गया. कार्यक्रम की अध्यक्षता शिक्षा विभाग के अध्यक्ष श्याम नारायण सिंह ने की. इस अवसर पर रवींद्र सिंह, आलोक दुबे, सीएन यादव, पीटर मुंडू, मंजू बाड़ा, कमलेश्वर पांडेय, शमीमा खातून, हाजी सरफुद्दीन शेख, भृगुनाथ सिंह आदि ने अपने विचार व्यक्त किये. चर्चा के बाद तैयार किये गये मांगों से संबंधित ज्ञापन वित्त मंत्री राजेंद्र प्रसाद सिंह, कांग्रेस प्रभारी बीके हरि प्रसाद, प्रदेश अध्यक्ष सुखदेव भगत को सौंपा गया.