रांची : बालू खनन के लिए प्रभावी नियम बनाने पर जोर दिया

रांची : द इंस्टीट्यूशन अॉफ इंजीनियर्स झारखंड इकाई की ओर से आयोजित दो दिवसीय सेमिनार का रविवार को समापन हो गया. मौके पर बालू उत्खनन में मशीनरी के उपयोग की समस्याएं व पर्यावरण संतुलन बनाये रखने के साथ नदियों से बालू उत्खनन की संभावित तकनीक पर सेमिनार हुआ. आज दूसरे दिन तकनीकी सत्र का आयोजन […]

By Prabhat Khabar Print Desk | January 14, 2019 9:41 AM
रांची : द इंस्टीट्यूशन अॉफ इंजीनियर्स झारखंड इकाई की ओर से आयोजित दो दिवसीय सेमिनार का रविवार को समापन हो गया. मौके पर बालू उत्खनन में मशीनरी के उपयोग की समस्याएं व पर्यावरण संतुलन बनाये रखने के साथ नदियों से बालू उत्खनन की संभावित तकनीक पर सेमिनार हुआ. आज दूसरे दिन तकनीकी सत्र का आयोजन किया गया. इसमें अलग-अलग राज्यों व उपक्रमों से आये वक्ताअों ने छह तकनीकी पत्र प्रस्तुत किया.
मौके पर तमिलनाडु से आये विशेषज्ञों ने बालू उत्खनन में लागू की गयी आइटी व जीआइएस आधारित प्रणाली की विस्तृत जानकारी दी. किस तरह तमिलनाडु में बालू का उत्खनन हो रहा है, इस पर प्रकाश डाला. यहां तमिलनाडु की प्रणाली की सराहना की गयी. पूर्व अभियंता प्रमुख शिवानंद राय ने जिला स्तर पर बिना पर्याप्त तकनीकी के कार्य कराने पर चिंता जतायी.
उन्होंने खनन के लिए प्रभावी नियम बनाये जाने पर बल दिया. पूर्व अभियंता प्रमुख शारदेंदु नारायण ने कहा कि समीक्षा समिति के सदस्य राजशेखरन से कहा कि वे सभी सदस्यों से विचार-विमर्श कर एक अनुशंसा तैयार करायें. मौके पर जितेंद्र कुमार सहित अन्य उपस्थित हुए.

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