इसके बाद सिलसिला चला, जिसमें अजफर जमील, नसीर अफसर, निहाल हुसैन, सुहैल सईद, नसीम अलवी, एजाज अनवर, अख्तर रांचवी, निजाम कैसर, अब्दुस्सलाम राजन, डॉ असलम परवेज, कुदरतुल्लाह, फरहाद शम्सी, कामेश्वर प्रसाद श्रीवास्तव निरंकुश, प्रशांत करण, हरेंद्र सिन्हा, डॉ सुरेंद्र कौर नीलम, वीना श्रीवास्तव, डॉ राजश्री जयंती, गीता सिन्हा, डॉ रश्मि शर्मा, राखी शर्मा, पूनम तिवारी, पूजा शुक्ला, आलमगीर साहिल, मुजीबुर्रहमान सहित कई लोगों ने अपनी गजलें व नज्म पेश किये़
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शौक जालंधरी व हैरत फर्रुखाबादी को उर्दू साहित्य अवार्ड
रांची: अंजुमन बका-ए-अदब, रांची ने वरिष्ठ शायर शौक जालंधरी व हैरत फर्रुखाबादी को उर्दू साहित्य अवार्ड से नवाजा़ रविवार को अंजुमन प्लाजा में हुए समारोह में राज्य अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष मो कमाल खान ने मोमेंटो, शॉल व प्रशस्ति पत्र देकर उन्हें सम्मानित किया़ अंजुमन के महासचिव नसीर अफसर ने आयोजन के बाबत जानकारी दी़ […]
रांची: अंजुमन बका-ए-अदब, रांची ने वरिष्ठ शायर शौक जालंधरी व हैरत फर्रुखाबादी को उर्दू साहित्य अवार्ड से नवाजा़ रविवार को अंजुमन प्लाजा में हुए समारोह में राज्य अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष मो कमाल खान ने मोमेंटो, शॉल व प्रशस्ति पत्र देकर उन्हें सम्मानित किया़ अंजुमन के महासचिव नसीर अफसर ने आयोजन के बाबत जानकारी दी़ वहीं, कार्यक्रम की अध्यक्षता रांची विवि के पूर्व कुलपति डॉ अनवर अहमद खान ने की़ इस अवसर पर अंजुमन तरक्की उर्दू झारखंड के अध्यक्ष प्रो अबूजर उसमानी व रांची विवि उर्दू विभाग के पूर्व एचओडी प्रो अहमद सज्जाद बतौर विशिष्ट अतिथि मौजूद थे़.
दिल जो उमड़ा तो इन आंखों में नमी आयी है… सम्मान समारोह के बाद दोनों शायरों ने अपनी गजलें भी पेश की. शौक जालंधरी ने कहा ‘कल एक हादसे में टांग कटी है उसकी, वह जो हर बात पे था टांग अड़ाने वाला़’ वहीं हैरत फर्रुखाबादी ने कहा, ‘गम में तेरे न कभी हमने कमी पायी है, दिल जो उमड़ा तो इन आंखों में नमी आयी है, शेर कहने का सलीका नहीं आया हैरत, आह जो दिल से उठी लब पे चली आयी है़’.
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