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बेगुनाहों की हत्या के खिलाफ प्रदर्शन
विरोध. साझा मंच की ओर से आयोजित राजभवन मार्च में सैकड़ों लोग हुए शामिल रांची : हाल के दिनों में राज्य के अलग-अलग हिस्सों में अनियंत्रित भीड़ द्वारा बेगुनाहों की हत्या करने अौर असहिष्णुता के खिलाफ गुरुवार को राजधानी के लोगों ने राजभवन मार्च किया. साझा मंच झारखंड के बैनर तले आयोजित राजभवन मार्च की […]
विरोध. साझा मंच की ओर से आयोजित राजभवन मार्च में सैकड़ों लोग हुए शामिल
रांची : हाल के दिनों में राज्य के अलग-अलग हिस्सों में अनियंत्रित भीड़ द्वारा बेगुनाहों की हत्या करने अौर असहिष्णुता के खिलाफ गुरुवार को राजधानी के लोगों ने राजभवन मार्च किया. साझा मंच झारखंड के बैनर तले आयोजित राजभवन मार्च की शुरुआत शहीद चौक से हुई.
राजभवन के पास आयोजित जनसभा में लोगों ने सौहार्द अौर भाईचारा बनाये रखने की शपथ ली. साझा मंच के मुख्य संयोजक इबरार अहमद और ललित ओझा ने कहा कि सामाजिक समरसता की डोर काफी मजबूत है. इस पर हमला बरदाश्त नहीं किया जायेगा.
कार्यक्रम के बाद राज्यपाल को ज्ञापन सौंपा गया. कहा गया है कि हाल के दिनों में असामाजिक तत्वों व अनियंत्रित भीड़ द्वारा गो रक्षा, बच्चा चोरी व धार्मिक उन्माद के नाम पर कई बेगुनाहों की हत्या की जा गयी है. इससे शांति भंग हो रही है और सामंजस्य खत्म हो रहा है. ऐसे असामाजिक तत्वों ने धार्मिक ध्रुवीकरण कर कानून व्यवस्था समाप्त कर आम लोगों का जीना मुहाल कर दिया है.
साझा मंच झारखंड की ओर से आयोजित कार्यक्रम में बुधवार को नयी दिल्ली से आये महात्मा गांधी के हमशक्ल कैसर एनके जानी भी शामिल हुए. उन्होंने कहा कि मेरा जन्म महात्मा गांधी की हत्या के 11 महीने बाद हुआ था. अब मैं महात्मा गांधी के दिखाये रास्ते और अहिंसा के मार्ग को जन-जन तक पहुंचाने का काम कर रहा हूं. बीटेक और एमबीए कर चुके कैसर कई देशों का भ्रमण कर चुके हैं और 35 से 40 जगहों पर महात्मा गांधी की तरह आंदोलन में शरीक हुए हैं. उन्होंने कहा कि हिंसा से किसी भी चीज का समाधान नहीं हो सकता है. अहिंसा से ही किसी भी आंंदोलन के उद्देश्यों को पूरा किया जा सकता है.
झामुमो का भी पैदल मार्च
रांची. झारखंड मुक्ति मोरचा अल्पसंख्या मोरचा के बैनर तले गुरुवार को देश में गो रक्षकों द्वारा की जा रही हत्या के विरोध में पैदल मार्च निकाला गया. जयपाल सिंह स्टेडियम से निकल कर यह मार्च अलबर्ट एक्का चौक तक गयी. यहां मोरचा के लोगों ने मुख्यमंत्री रघुवर दास का पुतला जलाया. इसमें मो जमील खान, पवन जेडिया, ख्वाजा मुजाहिद, मो जुबैर आलम समेत कई लोग शामिल थे.
मार्च में ये थे उपस्थित
कार्यक्रम में पद्मश्री सिमोन उरांव,, प्रो ज्यां द्रेज, प्रो सज्जाद, कोलकाता के साइंटिस्ट डॉ सुशांत झा, दयामनी बारला, नदीम खान, बंधु तिर्की, रतन तिर्की , ललित अोझा, महुआ माजी, फादर स्टेन स्वामी, हरमिंदरवीर सिंह, पीपी वर्मा, सिराज दत्ता, आलोका, अंकिता, मोहम्मद असगर, धीरज कुमार आदि मौजूद थे़
जनगीतों से आवाज बुलंद की
इस अवसर पर नागपुरी गायक मधु मंसूरी, इप्टा के कलाकार व अन्य लोगों ने जनगीतों के माध्यम से मानवता अौर सांप्रदायिक सौहार्द की आवाज बुलंद की. मधु मंसूरी ने झारखंड की धरती से निकली है आवाज…, ताहरा अंजुम ने तू जिंदा है, जिंदगी की जीत पर यकीन कर… व सुमेधा मलिक ने जमाने में मिलते हैं आशिक कई, लेकिन वतन से खूबसूरत कोई सनम नहीं है…आदि गीतों के माध्यम से समाज में एकजुट रहने का संदेश दिया.
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