झारखंड में थम नहीं रहा हाथियों का आतंक, रामगढ़ में मकानों को किया क्षतिग्रस्त,चट कर गये अनाज, दहशत में ग्रामीण

Elephant In Jharkhand, रामगढ़ न्यूज (शंकर पोद्दार) : झारखंड के रामगढ़ जिले के गोला वन क्षेत्र की रकुवा पंचायत अंतर्गत लिपिया गांव में रविवार देर रात्रि जंगली हाथियों ने जमकर उत्पात मचाया. इस दौरान तीन लोगों के मकान को क्षतिग्रस्त कर दिया और घर के अंदर रखे अनाज को चट कर गये. इस कारण स्थानीय लोगों में दहशत का माहौल बना हुआ है. सूचना मिलते ही जनप्रतिनिधि प्रभावित परिवारों के पास पहुंचे और नुकसान का जायजा लिया.

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 12, 2021 5:12 PM

Elephant In Jharkhand, रामगढ़ न्यूज (शंकर पोद्दार) : झारखंड के रामगढ़ जिले के गोला वन क्षेत्र की रकुवा पंचायत अंतर्गत लिपिया गांव में रविवार देर रात्रि जंगली हाथियों ने जमकर उत्पात मचाया. इस दौरान तीन लोगों के मकान को क्षतिग्रस्त कर दिया और घर के अंदर रखे अनाज को चट कर गये. इस कारण स्थानीय लोगों में दहशत का माहौल बना हुआ है. सूचना मिलते ही जनप्रतिनिधि प्रभावित परिवारों के पास पहुंचे और नुकसान का जायजा लिया.

जंगली हाथियों के उत्पात की सूचना मिलने के बाद सोमवार को मुखिया सुरेश कुमार रजक, वार्ड सदस्य निर्मल मांझी, वन कर्मी अनिल कुमार एवं दीपक कुमार दास प्रभावितों के पास पहुंचे और हाथियों द्वारा किये गये नुकसान का जायजा लिया. ग्रामीणों ने बताया कि रात्रि लगभग दो बजे पांच हाथियों का झुंड गांव में पहुंच कर सुरेश तुरी, विदेशी करमाली एवं संग्राम मांझी के मकान को क्षतिग्रस्त कर दिया. इसके साथ ही घर में रखे हुए चावल, गेहूं, आलू सहित अन्य अनाज को खा गये.

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हाथियों ने दरवाजा एवं खिड़की को भी क्षतिग्रस्त कर दिया. इस दौरान परिवार के कई लोग बाल-बाल बच गये. ग्रामीणों ने बताया कि हाथियों का झुंड सोमवार को वामन संगातू गांव के जंगल में छिपे हुए हैं. बताया जाता है कि पांच हाथियों के झुंड को जब वन कर्मी गोला क्षेत्र से भगाते हैं, तो झुंड पेटरवार जंगल के सीमा क्षेत्र पहुंच जाता है और जब वहां से भगाया जाता है, तो हाथी फिर गोला वन क्षेत्र आ जाते हैं. हाथियों को भगाने के बाद वन कर्मी तो चैन की सांस जरूर लेते हैं, लेकिन क्षेत्र के लोग भयभीत हैं. उधर वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि ये जंगली पशु हैं. हाथी एक बार जिस रास्ते से होकर गुजरता है. वह उसे हमेशा याद रहता है. यही वजह है कि जब भी हाथी क्षेत्र में आते हैं. उसी रास्ता से होकर गुजरते हैं.

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Posted By : Guru Swarup Mishra

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