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ठंड में मरीजों को नहीं मिल रहे कंबल, तीन की मौत
एमजीएम अस्पताल प्रशासन का दावा, शीतगृह खराब होने के कारण कराया दाह संस्कार अलग-अलग वार्ड में भर्ती कई मरीजों को देर रात तक नहीं मिले कंबल जमशेदपुर : महात्मा गांधी मेमोरियल (एमजीएम) मेडिकल कॉलेज अस्पताल में मानगो निवासी सुखदेव राम तथा सरजामदा निवासी सूरज नायक की मौत में लापरवाही का मामला अभी ठंडा भी नहीं […]
एमजीएम अस्पताल प्रशासन का दावा, शीतगृह खराब होने के कारण कराया दाह संस्कार
अलग-अलग वार्ड में भर्ती कई मरीजों को देर रात तक नहीं मिले कंबल
जमशेदपुर : महात्मा गांधी मेमोरियल (एमजीएम) मेडिकल कॉलेज अस्पताल में मानगो निवासी सुखदेव राम तथा सरजामदा निवासी सूरज नायक की मौत में लापरवाही का मामला अभी ठंडा भी नहीं हुआ कि गुरुवार को एक साथ तीन मरीजों की मौत हो गयी. कहा जा रहा है कि ठंड के कारण पिछले 24 घंटे में तीनों की मौत हुई है.
हालांकि अस्पताल प्रबंधन ठंड से मौत के दावे को सिरे से खारिज कर रहा है. इनमें दो मरीज मेडिसीन तथा एक सर्जरी विभाग में भर्ती था. तीनों की उम्र करीब 60 साल की थी. इन मरीजों का इलाज डॉ. हीरालाल मुर्मू (मेडिसीन), डॉ. पी सरकार (मेडिसीन) व डॉ. नागेश (सर्जरी) की यूनिट में चल रहा था. तीनों बीते कई माह से भर्ती थे. इन मरीजों को कोई देखने वाला नहीं था.अस्पताल प्रबंधन ने तीनों शवों का स्वर्णरेखा बर्निंग घाट में अंतिम संस्कार करा दिया.
ऐसे अस्पताल प्रबंधन का दावा है कि मरीजों को कंबल उपलब्ध कराये गये थे लेकिन अस्पताल के अलग-अलग वार्ड में अब भी कई मरीज हैं, जिन्हें कंबल मुहैया नहीं कराया गया है. मेडिसीन विभाग का आलम यह है कि दर्जनों मरीजों ठंडी रात में बरामदे में लगे बेड पर डाल दिये गये हैं. जिन मरीजों को कंबल दिये गये हैं. उनमें से कई काफी पुराने हैं.
मरीज और उनके परिजन ठंड से बचने के लिए घर से कंबल व दूसरे गर्म कपड़े लेकर अस्पताल में भर्ती हैं. प्रभात खबर ने कुछ दिन पहले ही अस्पताल में कंबल की कमी का मुद्दा प्रमुखता से उठाया था. इसके बावजूद व्यवस्था जस की तस बनी रही.
15 दिन से शीतगृह खराब है, इसलिए कराया दाह संस्कार : प्रबंधन. लावारिस मरीजों का आनन-फानन में दाह संस्कार कराने के पिछले अस्पताल प्रबंधन की ओर से कहा जा रहा है कि अस्पताल के शीतगृह पिछले 15 दिनों से खराब पड़ा हुआ है. इसमें रखे जाने वाले शव से बदबू आने लगी है. लिहाजा लावारिश मरीजों का तत्काल अंतिम संस्कार किया गया. कर्मचारियों का कहना है कि शीतगृह में लगे डीप फ्रीजर सही ढंग से काम नहीं कर रहा है. दो दिन से अधिक होने पर शव से बदबू आने लगती है.
मौत पर सवाल से बचते रहे अधीक्षक
अस्पताल में एक साथ तीन मरीजों की मौत के मामले में अधीक्षक से सवाल पूछने के लिए लगातार संपर्क करने का प्रयास किया गया. उन्होंने मोबाइल फोन नहीं उठाया. दूसरे चिकित्सकों ने कहा कि इस मामले में वह कुछ नहीं कह सकते. व्यवस्था को लेकर सवालों का जवाब अधीक्षक ही देंगे.
क्या कहते हैं मरीज
मैं ठंड लगने के कारण बीमार पड़ा हूं. अस्पताल में भर्ती कर लिया गया. अब तक कंबल नहीं दिया गया है. मैं पिछले कई घंटे से बरामदे में घर से लाये एक कंबल के सहारे रात काटने की कोशिश कर रहा हूं.
रामू भुइयां, मरीज, मेडिसीन
मुझे कंबल नहीं मिला है. मांगने पर कहा जा रहा है कि अस्पताल में कंबल नहीं है. इसकी व्यवस्था घर से कर के ही आइये. ठंड से बचने के लिए हम दो लोग एक ही बेड पर सो रहे हैं. रात बढ़ने के साथ ठंड बढ़ जाती है.
भैरो सिंह, मरीज, मेडिसीन
मैं पिछले चार घंटे से एक कंबल का इंतजार कर रही हूं. कहा जा रहा है कि अभी कंबल खाली नहीं है. इसकी व्यवस्था मरीज को अपने घर से करने की जरूरत है. बेड पर नीचे डालने के लिए भी कुछ नहीं मिल रहा.
पुष्पा देवी, मरीज, मेडिसीन
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