विश्वविद्यालय अनुदान आयोग का यातायात भत्ता एवं सीटिंग फीस को लेकर नया सर्कुलर जारी
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निरीक्षण के लिए मिलेंगे 5000 ले सकेंगे हवाई सेवा का लाभ
विश्वविद्यालय अनुदान आयोग का यातायात भत्ता एवं सीटिंग फीस को लेकर नया सर्कुलर जारी ठहराव से कार्य स्थल तक के बीच 350 किलोमीटर की दूरी कार से कर सकेंगे तय जमशेदपुर : उच्च शिक्षा के क्षेत्र में सेवा देने वालों के लिए अच्छी खबर है. विश्वविद्यालय अनुदान आयोग ने यातायात भत्ता एवं सीटिंग फीस को […]
ठहराव से कार्य स्थल तक के बीच 350 किलोमीटर की दूरी कार से कर सकेंगे तय
जमशेदपुर : उच्च शिक्षा के क्षेत्र में सेवा देने वालों के लिए अच्छी खबर है. विश्वविद्यालय अनुदान आयोग ने यातायात भत्ता एवं सीटिंग फीस को लेकर नया सर्कुलर जारी कर दिया है. यूजीसी की विभिन्न कमेटियों में निरीक्षण, बैठक सहित अन्य गतिविधियों में हिस्सा लेने के लिए जाने वाले लोगों को अायोग की ओर से नये नियमावली के अनुसार ही भुगतान किया जा सकेगा. आयोग ने ऑफिसियल एवं नन ऑफिसियल श्रेणी के अंतर्गत आने वाले लोगों को परिभाषित करते हुए टीए व सीटिंग फीस के नये निर्धारित दर के बारे में जानकारी सार्वजनिक की है.
इसके तहत केंद्र व राज्य सरकार के संस्थानों में कार्यरत, अर्द्ध सरकारी संस्थान, ऑटोनामस, केंद्र से फंड प्राप्त करने वाले संस्थान में सेवा दे रहे लोगों को ऑफिसियल श्रेणी में रखा गया है वहीं सरकार के सेवानिवृत्त कर्मचारी सहित रिटायर्ड यूजीसी सदस्य, विवि एवं अन्य संबद्ध संस्थाओं से जुड़े रहे लोगों को नन ऑफिसियल श्रेणी में रखा गया है. तय किया गया कि इन सभी लोगों को भुगतान के लिए पैन अनिवार्य रहेगा. बिल को जमा करने एवं भुगतान की प्रक्रिया ऑनलाइन होगी.
अधिसूचना के अनुसार बैठक में शामिल होने की सीटिंग फीस 3000 और अधिकतम 5000 तक होगी. निरीक्षण अथवा विभिन्न संस्थान के दौरे की फीस 5000 रुपये प्रतिदिन तय की गई है. यूजीसी के सदस्यों को भी 5000 रुपये भुगतान किया जायेगा. सीटिंग फीस से टीडीएस की कटौती होगी. आउट स्टेशन से आने वाले सदस्य अथवा विशेषज्ञों को कुछ शर्तों के साथ हवाई सफर की अनुमति दी गयी है. ऑफिसियल व नन ऑफिसियल श्रेणी के लोग हवाई यात्रा कर सकते हैं.
इसके लिए यूजीसी चेयरमैन से अनुमति लेनी होगी. जरूरत पड़ने पर सार्वजनिक हेलीकॉप्टर सेवाओं का भी उपयोग किया जा सकता है. दोनों श्रेणियों के सदस्य सभी तरह की ट्रेन सेवाओं का लाभ ले सकते हैं. एयर टिकट की व्यवस्था यूजीसी की ट्रेवल डेस्क करेगी. वहीं ट्रेन के टिकट की व्यवस्था एक्सपर्ट को अपने स्तर से करनी होगी. ठहराव स्थल से बैठक स्थल अथवा निरीक्षण स्थल की 350 किलो मीटर की दूसरी कार से तय की जा सकती है. इसके बदले अधिकतम 20 रुपये प्रति किलोमीटर के आधार पर भुगतान होगा.
यूजीसी की नई अधिसूचना से सीधे तौर पर उच्च शिक्षा जगत में सेवा से दे हजारों लोग जुड़े हुए हैं. प्रथम दृष्टया ऐसा लगता है कि पूर्व के तय नियमों को जरूरत के अनुसार सुविधाजनक बनाया गया है.
प्रो. रणजीत कुमार सिंह, प्रतिकुलपति, कोल्हान विवि, चाईबासा
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