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बच्चों में समझ विकसित करें
डीसी उमाशंकर सिंह ने दिशा एेप के तहत दिये जा रहे प्रशिक्षण के दौरान शिक्षकों से कहा कि बच्चों को रटने की परंपरा से मुक्ति दिलाएं.उनमें समझ विकसित करें, ताकि पढ़ाई उनके लिए बोझिल नहीं रूचिकर बने. गिरिडीह. आज विज्ञान के विद्यार्थी सामाजिक विज्ञान को लेकर आइएएस की परीक्षा पास कर रहे हैं. बच्चों को […]
डीसी उमाशंकर सिंह ने दिशा एेप के तहत दिये जा रहे प्रशिक्षण के दौरान शिक्षकों से कहा कि बच्चों को रटने की परंपरा से मुक्ति दिलाएं.उनमें समझ विकसित करें, ताकि पढ़ाई उनके लिए बोझिल नहीं रूचिकर बने.
गिरिडीह. आज विज्ञान के विद्यार्थी सामाजिक विज्ञान को लेकर आइएएस की परीक्षा पास कर रहे हैं. बच्चों को सामाजिक विज्ञान की पढ़ाई रटाकर नहीं, बल्कि उनमें समझ विकसित करके की जा सकती है, तभी बच्चे इसमें रूचि लेंगे. उक्त बातें डीसी उमाशंकर सिंह ने कही.
वह बुधवार को दिशा कार्यक्रम के तहत बुधवार को नगर भवन में आयोजित प्रशिक्षण शिविर में शिक्षकों को संबोधित कर रहे थे. नगर भवन व सर जेसी बोस बालिका उच्च विद्यालय में शिक्षकों का उन्मुखीकरण सह आकलन सर्वेक्षण बुधवार को भी जारी रहा.नगर भवन में मुआयना के दौरान डीसी ने शिक्षकों से अपील की कि सामाजिक विज्ञान में छात्रों को रटाने की परंपरा से मुक्ति दिलाइये. कहा कि जब पढ़ाई बोझिल होती है तो बच्चे भौतिक रूप से कक्षा में रहने के बाद भी दिल से पढ़ाई नहीं करते. उन्होंने कहा कि सच्ची लगन व मेहनत के बल पर बगैर कोचिंग के भी हम सफलता की उच्च कोटि पर पहुंच सकते हैं.
हमें बच्चों को विश्लेषणात्मक अध्यापन पर जोर देना होगा. डीसी ने दिशा की सफलता व प्रशासन के साथ कदम मिलाकर चलने के लिए शिक्षकों को साधुवाद दिया. नगर भवन में धर्मेंद्र कुमार सिन्हा, सत्यनारायण प्रसाद व बिपिन विश्वास ने प्रशिक्षक की भूमिका निभायी. जबकि सर जेसी बोस बालिका उवि में आदित्य झा, शीतल कच्छप, अशोक साव, बिपिन विश्वास ने शिक्षकों को प्रशिक्षण दिया. इधर गिरिडीह इंटर उच्च विद्यालय में कोर टीम के सदस्य मुन्ना प्रसाद कुशवाहा ने दिशा की आवश्यकता व उपयोगिता पर बल दिया.
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