धनबाद: बीसीसीएल में मेंटेनेंस के नाम पर हो रही अनियमितता की शिकायत पर सीबीआइ व विजिलेंस की संयुक्त टीम ने शुक्रवार को लोदना, सिजुआ व कुसुंडा क्षेत्र की कोलियरी के फीडर ब्रेकर की सरप्राइज चेकिंग की. यहां ब्रेक डाउन फीडर ब्रेकर के बावजूद मरम्मत के लिए लाखों रुपये लिये जाने की बात कही जा रही थी. टीम ने फीडर ब्रेकर के समीप डोजर व पेलोडर की निजी पार्टी द्वारा उपयोग किये जाने की भी जांच की. टीम ने कई कागजात भी जब्त किये. पूछताछ में मिली जानकारी व मौके से जब्त कागजात की छानबीन की जा रही है.
डोजर व पेलोडर पार्ट्स की खरीदारी, डीजल की खपत समेत अन्य बातों की भी चेकिंग चल रही है. सीबीआइ एसपी पीके माजी व बीसीसीएल के सीवीओ पीके सिन्हा के निर्देश पर चेकिंग चल रही थी. सीबीआइ व विजिलेंस को शिकायत मिली थी कि फीडर ब्रेकर से साइडिंग में कोयला जाता है. फीडर ब्रेकर की देखरेख की जिम्मेवारी निजी पार्टियों पर है. अधिकांश फीडर ब्रेकर खराब है और मेंटेनेंस के नाम पर प्रतिमाह लाखों रुपये लिये जाते हैं.
बीसीसीएल के डंपर व डोजर का उपयोग निजी पार्टियों के काम में लिया जा रहा है. टीम लगातार कागजात की जांच कर रही है. दोनों मशीनों के रखरखाव व डीजल की खपत मुख्य रूप से जांच के दायरे में है. जांच एजेंसी की कार्रवाई से हड़कंप है. लोयाबाद प्रतिनिधि के अनुसार बांसजोड़ा कोलियरी साइडिंग में चलने वाले सीएचपी में हो रही ओवररिपोर्टिग को लेकर धनबाद सीबीआई व विजिलेंस की संयुक्त टीम ने छापेमारी की. चेकिंग शुक्रवार की संध्या चार बजे से लेकर रात नौ बजे तक हुई.
बस्ताकोला प्रतिनिधि के अनुसार संयुक्त टीम विश्वकर्मा परियोजना के वर्कशॉप पहुंची. इस दौरान टीम ने हैवी मशीन की देखरेख करने वाले अधिकारियों व कर्मियों से पूछताछ की. कर्मियों, फोरमैन, वर्कशॉप इंचार्ज से कार्यालय में अलग-अलग पूछताछ की गयी. टीम ने पीओ डीके मिश्र से कोलडंप, ट्रांसपोर्टिग, सीएचपी व रेलवे साइडिंगों की भी जानकारी ली.